कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष सचिन पायलट ने कहा कि प्रदेश में लगातार सरकार की अनदेखी से व्यथित और परेशान होकर किसान आत्महत्या कर रहे हैं।
जयपुर। कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष
सचिन पायलट ने कहा कि प्रदेश में लगातार सरकार की अनदेखी से व्यथित और परेशान होकर किसान आत्महत्या कर रहे हैं। लेकिन राज्य के गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया ने सरकार के कार्यकाल के अंतिम वर्ष में स्वीकारा है कि प्रदेश में किसान आत्महत्या कर रहे हैं।
कांग्रेस की ओर से बुधवार को जारी बयान में पायलट ने कहा कि भाजपा राज में अब तक लगभग 100 किसानों ने सरकारी अनदेखी व वादाखिलाफी से त्रस्त होकर आत्महत्या की है। लेकिन गृहमंत्री ने सिर्फ तीन आत्महत्याओं को ही स्वीकारा है। इससे साबित होता है सरकार किसानों की आत्महत्याओं की भी अनदेखी कर रही है। कुछ दिनों पूर्व ही लहसुन की फसल की उचित कीमत नहीं मिलने से किसान ने परेशान होकर बारां में आत्महत्या कर ली थी। मंगलवार को फिर एक किसान ने लहसुन की फसल का लागत जितना मूल्य भी नहीं मिलने पर कीटनाशक पीकर अपनी जीवनलीला समाप्त कर ली है। दो किसानों की मौत के बाद सरकार कह रही है कि लहसुन की खरीद शुरू की जाएगी, जो बताता है कि जब तक किसान अपनी जान न दें तब तक सरकार की नींद नहीं खुलती। पायलट ने कहा कि सरकार कर्जे में डूबे किसानों के ऋण माफ करने की घोषणा भी चुनावी वर्ष में लेकर आई है, ताकि किसानों को भ्रमित कर वोट लिया जा सके। राजस्थान के इतिहास में यह पहली बार देखने को मिला है कि किसी सरकार से किसान इतना निराश हो जाएं कि उसके पास मरने के अलावा कोई चारा नहीं बचे। सरकार की संवेदनहीनता से स्पष्ट हो गया है कि भाजपा की प्रवृत्ति सिर्फ हर वर्ग को वोट बैंक समझने की रही है। झूंठे वादे कर वोट मांगे जाते हैं।पायलट ने कहा कि आने वाले विधानसभा चुनाव में जनता भाजपा को घर भेज देगी। पिछले तीन उप चुनावों में कांग्रेस को जिताकर जनता ने यह साबित भी कर दिया है कि अब आगामी चुनाव में कांग्रेस की सरकार बनेगी