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महाराष्ट्र में जुट न सकी सेना

locationजयपुरPublished: Nov 13, 2019 01:10:55 am

Submitted by:

Vijayendra

19 दिन बाद राष्ट्रपति शासन: शिवसेना पहुंची सुप्रीम कोर्ट, आज हो सकती है सुनवाई
एनसीपी ने राज्यपाल से मांगा तीन दिन का समयकेंद्रीय कैबिनेट ने रिपोर्ट मिलते ही लगाई मुहरशिवसेना ने कहा कांग्रेस-एनसीपी से चल रही है बात

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मुंबई में मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान एनसीपी प्रमुख शरद पवार और कांग्रेस नेता अहमद पटेल व खडग़े।

मुंबई/नई दिल्ली. महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए शिवसेना के दावे और एनसीपी को मिले न्योते के अगले ही दिन राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी की सिफारिश पर राष्ट्रपति शासन लगा दिया गया। हालांकि शिवसेना इससे पहले ही राज्यपाल के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंच गई। कोर्ट ने उनसे मामले को बुधवार को ‘मेंशनÓ (पेश) करने को कहा है।
दरअसल, एनसीपी ने मंगलवार सुबह 11.30 बजे राज्यपाल से तीन दिन का समय मांगा था, मगर राज्यपाल ने इसे खारिज करते हुए राष्ट्रपति शासन की सिफारिश भेज दी। कुछ ही देर में केंद्रीय कैबिनेट और फिर राष्ट्रपति ने भी इस पर मुहर लगा दी। इस बीच शाम को वरिष्ठ कांग्रेस नेता अहमद पटेल, वेणुगोपाल व मल्लिकार्जुन खडग़े मुंबई पहुंच गए। कांग्रेस-एनसीपी व शिवसेना ने राष्ट्रपति शासन का विरोध किया है।
खुला है सरकार बनाने का विकल्प
राष्ट्रपति शासन लगने के बाद भी राज्य में नई सरकार के गठन का विकल्प खुला रहेगा। यदि कोई दल या गठबंधन राज्यपाल को यह भरोसा दिलाता है वह स्थिर सरकार बना सकता है तो राज्यपाल बहुमत का आंकड़ा मांग सकते हैं। समर्थक विधायकों की परेड कराने का आदेश भी दे सकते हैं। संतुष्ट होने पर राज्यपाल राष्ट्रपति शासन खत्म करने की सिफारिश कर नई सरकार के गठन का रास्ता खोल सकते हैं।
गवर्नर पर तंज
&हमने राज्यपाल महोदय से 24 घंटे का समय मांगा था, लेकिन उन्होंने तो राष्ट्रपति शासन लगाकर हमें छह महीने का समय दे दिया। हम अभी भी सरकार बना सकते हैं।
– उद्धव ठाकरे, शिवसेना प्रमुख
तीनों दल बोले, गवर्नर ने समय नहीं दिया
ए नसीपी नेता शरद पवार के साथ साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस में कांग्रेस नेता अहमद पटेल ने कहा कि महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन की जरूरत नहीं थी। केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन का पालन नहीं किया। उन्होंने पूछा, राज्यपाल ने कांग्रेस को आमंत्रित क्यों नहीं किया? इससे पहले दोनों दलों के नेताओं के बीच ढाई घंटे तक बैठक हुई। वहीं एनसीपी नेता प्रफुल्ल पटेल ने कहा कि शिवसेना ने 11 नवंबर को पहली बार कांग्रेस-एनसीपी को गठबंधन का प्रस्ताव भेजा था। एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने कहा कि हमें बातचीत के लिए समय चाहिए। उधर, शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने भी कहा कि उन्होंने सोमवार को ही दोनों पार्टियों से आधिकारिक बात की थी। उन्होंने कहा कि राज्यपाल ने हमें महज 24 घंटे दिए वहीं भाजपा को 48 घंटे। एनसीपी व कांग्रेससे हमारे वैचारिक मतभेद हैं, इन पर बात करने के लिए ही हमें समय की जरूरत है। जब जम्मू-कश्मीर में भाजपा-पीडीपी की सरकार न्यूनतम साझा कार्यक्रम पर बनी थी तो महाराष्ट्र में क्यों नहीं बन सकती। हम आज भी सरकार बना सकते हैं। ठाकरे रीट्रीट होटल में अपने विधायकों से मिलने के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में पहुंचे थे। उन्होंने कहा कि भाजपा से रिश्ता शिवसेना नहीं बल्कि भाजपा ने ही खत्म किया है।
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