जानकारी के अनुसार मासूम दक्ष मिश्रा घर के पास ही साइकल चला रहा था। उसी समय उस पर पांच श्वानों ने हमला कर दिया। श्वान इतने खतरनाक थे कि मात्र एक मिनट में ही बच्चे के शरीर पर 45 घाव कर दिए। बच्चे के सिर, गर्दन, पैर, पीठ, पेट से लेकर पैरों पर दांतों के निशान हैं। वहां से गुजर रही दो महिलाओं ने बड़ी मुश्किल से मासूम को श्वानों से छुड़ाया। जिससे उसकी जान बच सकी। तीन दिन अस्तपाल में रहने के बाद दक्ष अब घर पर आ गया है। लेकिन अब वह अकेले बाहर निकलने में डरता है।
गर्मियों की छुट्टी, घर में कैद आस—पास के लोगों ने बताया कि घटना के बाद से बच्चों के बाहर खेलने, साइकल चलाने और अकेले कहीं भी जाने पर बिलकुल बैन लगा दिया है। घर के दरवाजे को भी ठीक से बंद कर रहे हैं। हर समय यही आशंका रहती है कि कहीं कोई और बच्चा श्वानों का शिकार न बन जाएं। जिसके चलते गर्मियों की छुट्टियों में बच्चे घर पर ही बोर हो रहे हैं। घटना के बाद से निगम की ढीली कार्यशैली से लोगों में नाराजगी है। लोगों का कहना है कि निगम कर्मचारी अब तक सिर्फ खानापूर्ति ही करते नजर आए हैं।