डीसीपी साउथ योगेश दाधीच ने बताया कि नागौर जिले के रियाबाड़ी कस्बे के रहने वाले चेनाराम माली ने सुबह करीब सवा 10 बजे मुख्यमंत्री आवास से कुछ दूरी पर चौकी के नजदीक कीटनाशक पदार्थ पिया था। सादा वर्दी में तैनात सुरक्षाकर्मियों ने उसे देखा और तुरंत पानी से कुल्ला करवाके अस्पताल पहुंचाया। जहां उसकी अब तबीयत ठीक है। वह एक ज्ञापन लेकर आया था, जिसमें उसने बजरी माफिया और पुलिस पर प्रताड़ना का आरोप लगाया है। वह एक कार में अपने साथी के साथ आया था।
चेनाराम ऑल राजस्थान दुकानदार महासंघ का तहसील अध्यक्ष भी है। उसने मुख्यमंत्री के नाम लिखे ज्ञापन में लिखा है कि 18 मई को बजरी खनन माफिया से जुड़े आधा दर्जन लोगों ने उसपर जानलेवा हमला किया। इसकी रिपोट पादूकलां थाने में दर्ज करवाई। 22 मई को फिर से आरोपियों ने रिपोर्ट वापस लेने का दबाव बनाने के लिए मारपीट की। इस घटना की रिपोर्ट दर्ज करवाने गया तो दर्ज नहीं की।
पुलिस पर लगाए आरोप
चेनाराम के अनुसार वह अक्सर खनन माफियाओं की शिकायत करता है। लेकिन पुलिस कोई कार्रवाई नहीं करती है। पादूकलां थाने वालों की उनसे मिलीभगत है। पुलिस महानिदेशक, अजमेर रेंज आईजी, नागौर एसपी, अतिरिक्त अधीक्षक नागौर, उपाधीक्षक डेगाना, जिला कलक्टर, एसडीएम रियाबाड़ी को वाट्स ऐप के जरिए लिखित सूचना भी दी। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई है, पुलिस विभाग से कोई न्याय नहीं मिला है। जबकि आरोपी पक्ष लगातार धमका रहा है। ज्ञापन के अंत में उसने मजबूरन आत्महत्या करने की बात भी लिखी है।