जुलाई-अगस्त में मानसून डेस्टिनेशन बना रहता है शहर : होटल व्यवसायियों के अनुसार, पहले तक लेकसिटी का पर्यटन सिर्फ टूरिज्म सीजन जो अक्टूबर से शुरू होता है, उस पर ही निर्भर रहता था, लेकिन अब सीजन के अलावा हर वीकेंड पर पर्यटन अच्छा रहता है, वहीं जुलाई और अगस्त ऐसे महीने बन गए हैं, जब शहर की खूबसूरती बहुत बढ़ जाती है और ये एक तरह से मानसून डेस्टिनेशन बन जाता है। यहां काफी संख्या में पर्यटक आने लगे हैं। पिछले साल जुलाई और अगस्त माह में लगभग डेढ़ लाख से अधिक पर्यटक पहुंचे थे। लेकिन, इस बार जुलाई की शुरुआत ही कर्फ्यू के साथ हुई है और हर पर्यटन स्थल अभी बंद पड़े हैं। जब तक कर्फ्यू नहीं हटेगा और हालात सामान्य नहीं होंगे तब तक इंतजार करना होगा।
वीकेंड्स पर हजारों पर्यटक रहते हैं मौजूद
मेरे पास लगातार कई जगहों से इंक्वायरीज आ रही है कि उदयपुर आना अभी सही होगा या थोड़ा इंतजार करें। मैं सभी को बता रही हूं कि अभी शहर में कर्फ्यू है, ऐसे में थोड़े दिन रूकना बेहतर होगा। पुलिस व प्रशासन के सहयोग से जल्द ही माहौल सामान्य हो जाएगा। उसके बाद पर्यटक फिर से अपने पसंदीदा शहर में घूमने-फिरने का लुत्फ ले सकेंगे।
शिखा सक्सेना, उपनिदेशक, पर्यटन विभाग
उदयपुर में पर्यटन व्यवसाय पूरा थम-सा गया है। घटना के बाद बहुत सारी बुकिंग कैंसिल हुई हैं। अब तक जो छवि लेकसिटी की रही है, वह प्रभावित हुई है, लेकिन हम आशा करते हैं कि जल्द ही हालात सामान्य हो जाएंगे एवं फिर से पर्यटन व्यवसाय फिर रफ्तार पकड़ेगा।
राजेश अग्रवाल, उपाध्यक्ष, होटल एसोसिएशन उदयपुर
उदयपुर में पिछले तीन दिन में पर्यटन को काफी नुकसान पहुंचा है। अब वीकेंड टूरिज्म का ट्रेंड है तो पर्यटक यहां वीकेंड पर भी आना पसंद करते हैं और इसी कारण कोरोना से हम उबर पाए हैं क्योंकि विदेशी पर्यटक तो अभी भी गिने-चुने ही आ रहे हैं।
कोमल सिंह चौहान, अध्यक्ष, महाराणा प्रताप अधिकृत गाइड यूनियन उदयपुर
कन्हैयालाल की अमानवीय तरीके से की गई हत्या ने पूरे देश को हिला कर रख दिया है। वहीं, इस हत्याकांड के बाद उदयपुर में उपजे तनाव व असुरक्षा के माहौल के कारण उदयपुर की टूरिज्म इंडस्ट्री पर विपरीत प्रभाव पड़ा है । कोरोना के दो साल बाद लोगों ने घूमना-फिरना शुरू किया था और उदयपुर सबकी पसंदीदा शहर बन गया था लेकिन अब लोग बुकिंग कैंसल करा रहे हैं। इस घटना से उबरने में अभी वक्त लगेगा ।
- गजेंद्र सुयल, होटल व्यवसायी
यह घटना बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है। इस घटना ने संपूर्ण टूरिस्ट सेक्टर पर और इससे जुड़े व्यवसायों को ठप कर दिया है। होटल में आने वाले सभी पर्यटक बुकिंग्स कैंसल करा रहे हैं और ऑक्यूपेंसी ना के बराबर है। हालांकि उदयपुर की छवि हमेशा से शांत शहर की रही है तो ये शहर फिर से अपनी पुरानी छवि कायम कर लेगा और पर्यटन यहां पहले की तरह आना पसंद करेंगे।
- नटराज सिंह कारोही, होटल व्यवसायी