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कटे हाथ को जोड़ा, टिश्यू रिकवरी के लिए सर्जरी कर पेट से चिपकाया

locationजयपुरPublished: Nov 28, 2020 03:22:21 pm

Submitted by:

Anil Chauchan

जयपुर . कटे हाथ को शरीर से वापस जोड़कर उसके टिश्यू जिंदा करने के लिए पेट से सर्जरी कर चिपकाने का अनोखा केस सामने आया।

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जयपुर . शरीर से हाथ या पैर का कोई हिस्सा कटने पर उसे डॉक्टर्स की ओर से जोडऩे कई मामले सामने आए हैं, लेकिन कटे हाथ को जोड़कर उसके टिश्यू को जिंदा करने का अनोखा केस हाल ही हुआ है। इस तकनीक को प्राइमरी ग्रोइन फ्लैप कहते हैं। पेट से जुड़ने के बाद मरीज के हाथ में हल्की मूवमेंट शुरू हो गई।

मरीज का बांया हाथ रोलर बेल्ट मशीन में फंसने के कारण कटकर अलग हो गया था। हाथ कटने के साथ ही ऊपर की स्किन भी खराब हो गई थी, जिसे ठीक नहीं किया जा सकता था। इसके अलावा मरीज के सभी नर्व, टिश्यू, मांसपेशियां और खून की नसों को भी काफी नुकसान पहुंचा था। मरीज का हाथ कटने केदो घंटे उसके परिजन यहां दुर्लभजी अस्पताल लेकर आए।

अस्पताल में हैंड सर्जन डॉ. अमित मित्तल ने बताया कि मरीज की कोरोना रिपोर्ट करवाई वह भी पॉजिटिव आई थी। कोरोना रिकवर होने में 10 से 15 दिन लगते और इस स्थिति में उसका हाथ खराब हो जाता। ऐसे में डॉक्टर्स ने पीपीई किट व अन्य सुरक्षा उपायों के साथ उसकी सर्जरी करने का निर्णय लिया।

हाथ जोडऩे के बाद उसे पेट से चिपकाया –
डॉक्टर्स की टीम ने 8 से 9 घंटे की सर्जरी में मरीज की कटी खून की नसें, नर्व, टिश्यू और मांसपेशियों को फिर से जोड़ा। डॉ. अमित ने बताया कि हाथ को पूरा जोडऩे के बाद भी उसकी रिकवरी नहीं हो पाती क्योंकि हाथ कटने से उसके टिश्यू समेत अन्य संरचना भी खराब हो गई थी। नसें व नर्व जोडऩे के बाद उन्हें स्किन से कवर करना बहुत जरूरी था, नहीं तो वह रिकवर नहीं हो पाते। इसीलिए उसे पेट की स्किन के साथ चिपकाया गया। रिकवरी होने के बाद उसकी स्किन ग्राफ्टिंग कर स्किन लगाई जाएगी।

सर्जरी में यह थी डॉक्टरों की टीम –
इस सर्जरी को सफल बनाने में ऑर्थोपेडिक एनिस्थिसिया एक्सपर्ट डॉ. आशीष शाह, डॉ. भारती लाड, डॉ. शीतल, ऑर्थोपेडिक सर्जन डॉ. जयंत सेन, डॉ. कपिल गंगवाल, डॉ. प्रतीक गोयल और डॉ. शैलेंद्र श्रीवास्तव, डॉ. हरीश, कार्डियोवस्कुलर सर्जन डॉ. नीरज शर्मा और डॉ. अजय शर्मा, प्लास्टिक सर्जन डॉ. नितेश गोयल और डॉ. अंजन बैनर्जी व क्रिटीकल केयर एक्सपर्ट डॉ. निखिल अजमेरा व डॉ. चंद्रशेखर का विशेष सहयोग रहा।

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