मिली जानकारी के मुताबिक बुधवार को सिविल लाइन्स एरिया में पानी की आपूर्ति प्रभावित हुई। इस कारण 24 घंटे पानी की आपूर्ति रहने वाले मुख्यमंत्री आवास और राजभवन में कई घंटे तक पानी नहीं पहुंचा। मामले की जानकारी मिलने पर विभागीय अधिकारियों के हाथ पांव फूल गए और वो पानी की आपूर्ति बाधित होने की समस्या को ठीक करने में जुट गए। दोनों ही वीवीआईपी आवासों में पानी की आपूर्ति बाधित होने से विभाग को यहां पानी के टैंकर तक भिजवाने पड़ गए। पहले पानी की आपूर्ति बाधित होने से दो घंटे से अधिक समय तक राजभवन और सीएम आवास के साथ ही सिविल लाइन्स एरिया में पानी नहीं पहुंचा। फिर दो बार बिजली जाने से भी पानी की आपूर्ति प्रभावित हुई। पानी की आपूर्ति प्रभावित होने की बात पूछने पर जलदाय विभाग के जिम्मेदार अभियंता और अधिकारी अलग—अलग बात करते हुए मामले को टालमटोल करने से पीछे नहीं रहे।
आमजनता का क्या हाल जलदाय विभाग की लापरवाही का आलम इतना है कि जब वीवीआईपी एरिया में पानी की किल्लत हो रही है तो आमजनता का क्या हाल होता होगा। शहर में गर्मी के चलते रोज अलग—अलग स्थानों पर प्रदर्शन हो रहे हैं। जिन स्थानों पर विभाग की एक घंटे की सप्लाई होती है, वहां भी कभी लोग कम दवाब से पानी आने की शिकायत करते हैं तो कभी पानी ही नहीं आने की। विभागीय कार्यालयों पर मटका फोड़ प्रदर्शन भी किए जा रहे हैं। लेकिन फिर भी पानी की किल्लत दूर नहीं हो रही है।
30 फीसदी एरिया अनकनेक्टेड जयपुर शहर का करीब 70 फीसदी एरिया ही पेयजल सप्लाई की लाइनों से जुड़ा हुआ है। खोनागोरियान, जामडोली, जगतपुरा, पृथ्वीराज नगर समेत अन्य करीब 30 फीसदी हिस्से में पेयजल सप्लाई की सरकारी लाइन ही नहीं हैं। यहां के लोग पानी के लिए बुरी तरह से परेशान हैं। पेयजल सप्लाई से अनकनेक्टेड एरिया की जनता सरकारी टैंकरों से पर्याप्त आपूर्ति नहीं होने से निजी टैंकरों के भरोसे है।
अधिकारी छिपाते रहे मामला -पानी की सप्लाई प्रभावित नहीं हुई थी। दोनों जगहों पर बने टैंकों की सफाई करवाई गई थी। इसलिए टैंकर डलवाए गए थे। आर.सी मीना, अधीक्षण अभियंता, नगर वृत दक्षिण
-मुझे इस बारे में जानकारी नहीं है। मैं अभी अस्पताल में हूं। आप हमारे अधीक्षण अभियंता से बात कर लीजिए। सुनील राजवंशी, अधिशाषी अभियंता, डिविजन एस.टू हमने -पेयजल लाइन चैक की थी। दो घंटे का शटडाउन लिया था। इस कारण पानी के लिए राजभवन और सीएम आवास पर टैंकर भिजवा दिए गए थे। करण सिंह मीणा, सहायक अभियंता, सिविल लाइन्स
-ये कोई नई बात नहीं है। लीकेज होते रहते हैं। इस कारण भी इन्हें ठीक करवाने के कारण कई बार सप्लाई में देरी होती है। नैना शर्मा, कनिष्ठ अभियंता, सिविल लाइन्स चौकी