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हम कमजोर हो गए…इनकी नाक पकड़ कर रगड़ देते : कटारिया

locationजयपुरPublished: Feb 29, 2020 12:06:59 am

Submitted by:

Prakash Kumawat

एमएलए कलेक्टर के बाहर एक—डेढ़ घंटे खड़ा रहता है। हम कमजोर हो गए…इनकी नाक पकड़ कर रगड़ देते। ये एमएलए को कहते हैं निकल जाओ…ये लोकतंत्र का अपमान है। गरीब जनता भिखमंगे की तरह इनके सामने जाकर गिड़गिड़ती है…ये समझते हैं हमारा बाल बांका नहीं कर सकता। हम यहां झक मारने नहीं आते हैं, सीएस यहां बैठा होना चाहिए, कलेक्टर्स को बिठाओ। पीएम को भी विधानसभा की प्रोसेडिंग भेजिए। ऐसे दागी लोगों ने प्रशासन को गंदा किया है।

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हम कमजोर हो गए…इनकी नाक पकड़ कर रगड़ देते:कटारिया

एमएलए कलेक्टर के बाहर एक—डेढ़ घंटे खड़ा रहता है। हम कमजोर हो गए…इनकी नाक पकड़ कर रगड़ देते। ये एमएलए को कहते हैं निकल जाओ…ये लोकतंत्र का अपमान है। गरीब जनता भिखमंगे की तरह इनके सामने जाकर गिड़गिड़ती है…ये समझते हैं हमारा बाल बांका नहीं कर सकता। हम यहां झक मारने नहीं आते हैं, सीएस यहां बैठा होना चाहिए, कलेक्टर्स को बिठाओ। पीएम को भी विधानसभा की प्रोसेडिंग भेजिए। ऐसे दागी लोगों ने प्रशासन को गंदा किया है।
नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने ब्यूरोक्रेसी और कर्मचारियों की कार्यप्रणाली पर पीड़ा जताते हुए भ्रष्ट अधिकारियों पर कार्रवाई की मांग की।
विधानसभा में कटारिया ने कहा कि जितने भी बड़े अधिकारी ट्रेप हुए, वे दंडित नहीं हुए, हमारी व्यवस्था चपरासी को बलि का बकरा बनाकर गिनती करवाने की है…मारना ही है तो शेर को मारो ना। एसीबी ने अभी गंभीर मामला पकड़ा, लेकिन भ्रष्टाचार को रोकना है तो जो आइडेंटीफाई लुटेरे हैं, उन्हें ट्रेकिंग पर डालो… मौका मिलेगा तो ये हमको उल्टा लटका देंगे। पीएम को भी विधानसभा की प्रोसेडिंग भेजिए। ऐसे दागी लोगों ने प्रशासन को गंदा किया है। कटारिया ने मंत्री से सचिव के टकराव का मामले को लोकतंत्र का अपमान बताया। उन्होंने कहा कि 16 सीसी के नोटिस वाले कर्मचारी के रिटायर्ड होने तक मत लटकाओ दोषी है तो सजा दो। हर 10 साल में आईएसएस, आईपीएस का मूल्यांकन करवाकर केन्द्र को सिफारिश भेजने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि जिलों में कलेक्टरों के मकान, खान, जमीन उनके पास होगी, उनकी जांच होनी चाहिए।
जिलों में 2 कलेक्टर
कटारिया ने कहा कि कलेक्टरों के पास कमेटियों के काम बहुत होते हैं, वे मीटिंगों में भी नहीं जा पाते हैं, इसलिए विकास के काम के लिए बड़े जिलों में दो कलेक्टर लगाए, जिससे एक कलेक्टर केवल विकास कार्य देख सकें। से लेकर पटवारी तक के कार्यों का मूल्यांकन कराने की निर्णय नहीं होने
अकाउंटेबिलिटी तय हो
विधानसभा में सभापति राजेन्द्र पारीक ने कहा कि इस व्यवस्था को सुधारने के लिए अधिकारियों को मॉटिवेशनल ट्रेनिंग दी जाए, उनकी अकाउंटेबिलिटी तय की जाए। सदन का हर सदस्य इस पीड़ा से गुजरा है या गुजरेगा, व्यवस्था में सुधार के लिए एन्श्योर करें

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