पूनियां ने कहा कि प्रदेश में रेप और हत्या के मामले अब बहुत आम हो गए हैं। गहलोत सरकार के ढुलमुल रवैये से अपराधियों के हौंसले बुलंद हैं। प्रदेश सरकार किस रीति और नीति से चल रही है, इन घटनाओं से यह स्पष्ट है। जोधपुर जिले के शेरगढ़, भोपालगढ़ और फलौदी में नाबालिग बच्चियों के साथ दरिंदगी की वारदातों ने प्रदेश को शर्मसार किया है, जो बतौर गृहमंत्री एवं मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की पूरी तरह विफलता का प्रमाण है, वह राज्य में महिलाओं-बच्चियों को सुरक्षा देने में नाकाम हैं।
उन्होंने कहा कि उदयपुर शहर में युवक-युवती से चाकू की नोंक पर लूटपाट व झुझुनूं जिले में अवैध खनन का विरोध कर रही महिला की गाड़ी से कुचलकर हत्या करना, आए दिन हो रही ऐसी वारदातों से यह प्रश्न बार-बार मन में उठता है कि राजस्थान का गृहमंत्री कौन है ? पूनियां ने कहा कि मुख्यमंत्री गहलोत सिर्फ बैठकों में व्यस्त रहते हैं, दिखावे के लिए घोषणाएं कर रहे हैं। वे और उनके मंत्री घर से बाहर निकलते नहीं हैं, प्रदेशभर में विकास कार्य ठप पड़े हैं और कानून व्यवस्था भी भगवान भरोसे चल रही है। ऐसे में जरूरत है कि गहलोत बैठकों के अलावा प्रदेश की जनता के बीच जाकर हकीकत को जानें और बहन-बेटियों की सुरक्षा के लिए कड़े कदम उठाएं।