scriptआंधियों व बारिश में उलझा किरणों का जाल, गर्मी ने दिखाई नरमी | A web of rays entangled in storms and rain, heat showed softness | Patrika News

आंधियों व बारिश में उलझा किरणों का जाल, गर्मी ने दिखाई नरमी

locationजैसलमेरPublished: Jun 18, 2021 10:03:13 am

Submitted by:

Deepak Vyas

-वैशाख में नहीं दिखे तेवर तो ज्येष्ठ में 40 से नीचे लुढ़का पारा-हर बार रिकार्ड बनाती है जैसाण की गर्मी, इस बार स्थिति जुदा

आंधियों व बारिश में उलझा किरणों का जाल, गर्मी ने दिखाई नरमी

आंधियों व बारिश में उलझा किरणों का जाल, गर्मी ने दिखाई नरमी

जैसलमेर. करीब 40-50 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से आने वाले तेज अंधड़ों और बारिश के दौर ने सरहदी जैसलमेर जिले की गर्मी को नरम कर दिया है। अमूमन मई-जून की भीषण गर्मी व तन झुलसाने वाली उसम से आहत जिले के बाशिंदों को इस बार मौसम के बदले अंदाज से सुकून मिला है। सूर्यदेव जहां आग नहीं उगल पाए, वहीं उमस भी आंधियों के बीच बेअसर रही। मौसम विभाग के आंकड़ों के अनुसार जून महीने में करीब 54.8 एमएम बारिश हुई, वहीं गुरुवार को ही 13 एमएम बारिश दर्ज की गई। रेगिस्तानी क्षेत्र के बाशिंदों के लिए भीषण गर्मी कोई नई बात नहीं है, विगत वर्षों में अप्रेल माह में ही आसमान से अंगारें बरसने जैसी अनुभूति होनी शुरू हो जाती थी।
इस बार 44.5 डिग्री तापमान रहा अधिकतम
आमतौर पर वैशाख व ज्येष्ठ माह की गर्मी में मरुप्रदेश तंदूर की माफिक तपने लगता है। यही नहीं रात को भी यहां के बाशिंदों को राहत नहीं मिलती, लेकिन इस बार आंकड़े अलग की कहानी बयां कर रहे है। इस बार 28 मई को 44.6 डिग्री तापमान दर्ज किया गया, जो इस सीजन का अधिकतम रहा।विगत वर्षों में थार मरुस्थल की गोद में बसे जैसलमर जिले में गर्मी लगातार रिकॉर्ड बनाने में आमादा थी। वर्ष 2019 तक सीमावर्ती जैसलमेर जिले में गर्मी का मौसम रौद्र रूप धारण कर रहा था। इस बार जून महीने में तापमापी पारा 40 डिग्री से नीचे गिर रहा है। ऐसे में गर्मी के मौसम में नरमी का अहसास होने लगा है।
3 जून 1991 की याद
जैसलमेर के बड़े-बुजुर्गों को आज भी 3 जून 1991 का वह सबसे गर्म दिन याद है, जब तापमान 49.2 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया था। उस दिन जिले में गर्मी के प्रकोप से कई लोगों की जान तक चली गई थी। 1991 के बाद पुन: 20 साल के अंतराल के पश्चात 7 जून 2011 में सर्वाधिक तापमान 48.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो अब तक का दूसरा सर्वाधिक तापमान रहा। ऐसे ही 19 जून 1992 में तीसरा सर्वाधिक तापमान 48.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था।
एसी व कूलर की बिक्री में मंदी
लॉकडाउन के बीच घटी क्रय शक्ति के बीच गर्मी के सुस्त तेवरों के कारण एयरकंडीशनर और कूलर की बिक्री पर भी प्रतिकूल असर पड़ा है। उधर, बिजली के बिल की परवाह भी आमजन को हैं, ऐसे में घरों में एयरकंडीशनर लगाने के प्रति ज्यादा रुझान इस सीजन में नजर नहीं आया।
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