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11 हजार की आबादी... 100 से अधिक बसें... अस्थायी बस स्टैंड पर 'अव्यवस्थाओं के इंतजाम

locationजैसलमेरPublished: Oct 18, 2023 08:53:00 pm

Submitted by:

Deepak Vyas

- जिम्मेदार मूलभूत सुविधाओं के विस्तार पर नहीं दे रहे ध्यान

11 हजार की आबादी... 100 से अधिक बसें... अस्थायी बस स्टैंड पर 'अव्यवस्थाओं के इंतजाम
11 हजार की आबादी... 100 से अधिक बसें... अस्थायी बस स्टैंड पर 'अव्यवस्थाओं के इंतजाम

रामदेवरा गांव के नाचना चौराहे पर स्थित अस्थायी बस स्टैंड पर सुविधाओं की कमी के कारण यात्रियों को परेशानी से रू-ब-रू होना पड़ रहा है। जबकि जिम्मेदारों की ओर से यहां सुविधाओं के विस्तार को लेकर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। जानकारी के अनुसार गांव की आबादी 11 हजार की है। गांव में लोकदेवता बाबा रामदेव की समाधि स्थित है। यहां प्रतिवर्ष 40 लाख से अधिक श्रद्धालु दर्शनों के लिए पहुंचते है। मेले के दौरान फलोदी व जोधपुर आगार के स्टैंड परिसर से बसों का संचालन होता है, लेकिन अन्य दिनों में 11 महीनों तक गांव के नाचना चौराहे से बसें संचालित होती है। निजी व रोडवेज बसें यहीं रुकती है और सवारियां लेती व उतारती है। इस अस्थायी बस स्टैंड पर सुविधाओं के नाम पर कुछ भी नहीं है। जिसके कारण यात्रियों को परेशानी हो रही है।
सैंकड़ों यात्री प्रतिदिन करते है सफर
रामदेवरा में प्रतिदिन सैंकड़ों यात्री बसों से सफर करते है। यहां आने वाले अधिकांश श्रद्धालु बसों से पहुंचते है और वापसी में भी बसों से यात्रा करते है। नाचना चौराहे पर स्थित अस्थायी बस स्टैंड पर बाहरी यात्रियों को बसों के सही समय की जानकारी नहीं होने के कारण उन्हें घंटों तक अपने गंतव्य स्थल की बसों का इंतजार करना पड़ता है। नाचना चौराहे पर हर समय यात्रियों की रेलमपेल देखी जा सकती है।
नहीं है कोई सुविधा
- इस अस्थायी बस स्टैंड पर सुविधाएं कुछ भी नहीं है।
- यात्रियों को कड़ी धूप, बारिश व सर्दी के मौसम में तेज शीतलहर के दौरान खुले आसमान तले खड़े होकर बसों का इंतजार करना पड़ता है।
- यहां पानी की व्यवस्था नहीं होने के कारण बाजार से महंगे दामों में बोतलें खरीदनी पड़ती है।
- शौचालय की व्यवस्था नहीं होने से खुले में ही जाना पड़ता है। इसमें विशेष रूप से महिलाओं को परेशानी होती है।
सुविधाएं बढ़ें तो मिले राहत
लोकदेवता बाबा रामदेव की समाधि के दर्शनों के लिए आने वाले श्रद्धालुओं के साथ स्थानीय लोग इसी बस स्टैंड से सफर करते है। यहां सुविधाएं नहीं होने के कारण उन्हें परेशानी होती है। इसी प्रकार निजी बसें गांव के रामसरोवर के घाट से संचालित होती है। जबकि रोडवेज की बसें गांव में नहीं आकर इसी अस्थायी स्टैंड से संचालित होती है। ऐसे में यात्री निजी बसों में भी सफर के लिए मजबूर होते है। जबकि जिम्मेदारों की ओर से कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है।
फैक्ट फाइल:-
- 11 हजार है रामदेवरा की आबादी
- 100 निजी व रोडवेज बसें होती है संचालित
- 5 किमी में फैला रामदेवरा क्षेत्र
- 40 लाख श्रद्धालुओं की होती है आवक

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