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पत्रिका अभियान : सिमटता-सिकुड़ता जैसाण- चुप्पी बनी संजीवनी… वर्षों से चल रहा है अतिक्रमण का खेल

locationजैसलमेरPublished: Apr 26, 2018 11:56:47 am

Submitted by:

jitendra changani

सख्त कार्रवाई नहीं होने से नहीं थम रहा सिलसिला

Jaisalmer patrika

Patrika news

एक दशक में अवैध कब्जों की बाढ़ से बस गई बस्तियां
जैसलमेर/पोकरण. सरकारी भूमि पर अतिक्रमणों का दौर वर्षों से चल रहा है। पोकरण में भी नगरपालिका की भूमि पर आए दिन अतिक्रमण हो रहे है। हालांकि समय-समय पर कार्रवाई भी होती है, लेकिन सख्ती के अभाव में अतिक्रमणों का दौर थमने का नाम ही नहीं ले रहा। कस्बे में विशेष रूप से वर्ष 2008 के बाद से अतिक्रमणों की बाढ आई हुई है। गत 10 वर्षों में अतिक्रमणों से कई बस्तियां स्थापित हो चुकी है। अतिक्रमण करने वाले लोग कस्बे में खाली पड़ी नगरपालिका की भूमि का सर्वे करते है। इसके बाद सुरक्षित स्थान देखकर यहां चूने के घोल अथवा पत्थर डालकर अपना हक जताते है। कुछ दिनों तक कोई कार्रवाई या हलचल नहीं होते देख यहां निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाता है। निर्माण कार्य होने के बाद बिजली, पानी का कनेक्शन मिल जाता है और यह अवैध कब्जा चल पड़ता है पक्कर होने की राह पर।
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IMAGE CREDIT: patrika
दामों में आया उछाल तो बढ़े अतिक्रमण भी
पूर्व में पोकरण जमीनों की कीमत ज्यादा नहीं थी। 40 से 50 हजार रुपए तक 25 गुणा 50 का भूखण्ड सहज उपलब्ध हो जाता है। वर्ष 2009 के बाद सौर व पवन ऊर्जा कंपनियों के क्षेत्र में प्रवेश करने के बाद जमीनों की कीमतें आसमान छूने लगी। वर्तमान में 25 गुणा 50 का भूखण्ड पांच से सात लाख रुपए में भी उपलब्ध नहीं हो रहा है। ऐसे में भूखण्ड नहीं मिलने पर लोगों की ओर से सरकारी भूमि का रुख किया जाता है और शुरू हो जाता है कब्जों का दौर।
बस गई कॉलोनियां
कस्बे में फलसूण्ड रोड पर कभी खुला मैदान हुआ करता था। वर्ष 2009 में यहां अवैध कब्जों की ऐसी बाढ आई कि पूरी कॉलोनी बस गई। जहां कुछ लोगों की झोंपडिय़ां नजर आती थी, वहां अब सैंकड़ों मकान बन चुके है। पूरी कॉलोनी अवैध कब्जों से स्थापित हुई। जिन्हें नियमों के आधार पर अब पट्टे भी मिल चुके है और नगरपालिका की राशि से कॉलोनी में विकास कार्य भी हो रहे है। इसी अतिक्रमण संस्कृति के चलते कस्बे में आधा दर्जन से अधिक कच्ची बस्तियां बस गई। यहां 80 प्रतिशत अतिक्रमणों का नियमन भी हो गया। जिससे लोगों की अतिक्रमण करने की लालसा और बढावा मिला।
फैक्ट फाइल:-
– 5 किमी क्षेत्रफल में फैला है पोकरण
– 27 हजार के करीब आबादी करती है निवास
– 20 वार्ड मौजूद है पोकरण नगरपालिका क्षेत्र में
– 6 से अधिक सरकारी कॉलोनियां है पोकरण में
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