तारबंदी मवेशी के लिए बन रही काल, तारबंदी में फंसा हरिण
- तारबंदी में फंसा हरिण, श्वानोंं ने बनाया शिकार
जैसलमेर
Published: April 20, 2022 08:17:57 pm
लाठी. पर्यावरण संरक्षण को लेकर राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 11 के दोनोंं तरफ वन विभाग की ओर से पौधरोपण कर की गई तारबंदी वन्यजीवों के लिए काल बन रही है। धोलिया गांव के पास एक हरिण के पीछे श्वान भाग रहे थे। इस दौरान हरिण इस तारबंदी में उलझ गया। जिस पर श्वानों ने उस पर हमला कर मौत के घाट उतार दिया। गौरतलब है कि पोकरण से जैसलमेर तक राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 11 पर सड़क के दोनों तरफ वन विभाग की ओर से पौधे लगाकर उनके संरक्षण के लिए तारबंदी की गई है। लाठी, भादरिया, खेतोलाई, धोलिया आदि हरिण बाहुल्य क्षेत्र है। यहां बड़ी संख्या में हरिण विचरण करते है तथा आए दिन श्वानों के हमले में वे काल का ग्रास हो जाते है। श्वानोंं के हमले से बचने के लिए भागते हरिण कई बार इस तारबंदी में उलझ जाते है और श्वानों का शिकार बन जाते है। मंगलवार की देर रात भी धोलिया गांव के पास कुछ श्वान एक चिंकारा हरिण का पीछा कर रहे थे। इस दौरान चिंकारा ने जब तारबंदी से छलांग लगाई तो वह उसमें उलझ गया। इस दौरान श्वान उस पर टूट पड़े और उसे अपना शिकार बना लिया। बुधवार को सुबह तारबंदी में फंसे चिंकारे को मृत देखकर ग्रामीणों की भीड़ लग गई। अखिल भारतीय जीवरक्षा विश्रोई सभा के जिलाध्यक्ष राधेश्याम विश्रोई सहित वन्यजीवप्रेमी व ग्रामीण मौके पर पहुंचे और घटना को लेकर वन विभाग के अधिकारियों को सूचित कर रोष जताया। सूचना पर वन विभाग के वनपाल कानसिंह मेड़तिया, कमलेश विश्रोई व अन्य कार्मिक मौके पर पहुंचे तथा मृत हरिण को दफनाकर अंतिम संस्कार किया।
वन्यजीवों के लिए बनी परेशानी
राष्ट्रीय राजमार्गों के किनारे वन विभाग की ओर से पौधरोपण कर उनकी सुरक्षा के लिए तारबंदी की गई है, ताकि पर्यावरण संरक्षण हो सके। जबकि दूसरी तरफ यह तारबंदी वन्यजीवों के लिए परेशानी का सबब व काल का ग्रास बनती जा रही है। आए दिन हरिण, नीलगाय, खरगोश सहित अन्य वन्यजीव इस तारबंदी में फंस रहे है और काल का ग्रास हो रहे है। साथ ही श्वान भी इन तारबंदी में फंसे वन्यजीवोंं को अपना शिकार बने रहे है।
सुरक्षा के हों उपाय
क्षेत्र में आए दिन वन्यजीवों की मौत हो रही है। जबकि वन विभाग की ओर से कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है, न ही गश्त बढ़ाने व सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध किए जा रहे है।
- राधेश्याम पेमाणी, जिलाध्यक्ष अखिल भारतीय विश्रोई सभा जैसलमेर, धोलिया।
की जा रही है जांच
धोलिया गांव के पास तारबंदी के कारण हरिण के मृत होने की सूचना मिली। जिस पर वन विभाग की टीम ने मौके पर जाकर मामले की जांच शुरू की है।
- कानसिंह मेड़तिया, वनपाल वन विभाग, लाठी।

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