इसलिए पुलिस ने तस्करों को दी थी ढील, पीछा करती रही
जालोरPublished: Jul 13, 2019 02:38:07 pm
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28 किलो अफीम के दूध के साथ पकड़े गए 7 आरोपी
जालोर/भीनमाल. मेवाड़ से अफीम लेकर आए तस्करों के साथ ही खरीदार को दबोचने के लिए नारकोटिक्स की टीम ने काफी इंतजार किया। टीम मेवाड़ से भीनमाल तक तस्करों का पीछा करती रही तथा लगातार ढील दी, ताकि तस्कर आराम से खरीदार तक पहुंच जाए। यहां आने पर तस्करों को दबोच लिया गया।
जानकारी के अनुसार नारकोटिक्स विभाग की टीम मेवाड़ क्षेत्र से ही अफीम तस्करों पर पैनी नजर रखी हुई थी। माना जा रहा है कि टीम उदयपुर, मेवाड़ व सिरोही क्षेत्र में भी सप्लायर्स को गिरफ्तार कर सकती थी, लेकिन इससे खरीदार पकड़ में नहीं आते। ऐसे में तस्करों को ढील दी गई तथा लगातार पीछा होता रहा। भीनमाल में देलवाड़ा तिराहे पर जैसे ही तस्करों ने सप्लायर्स को माल की खेप दी टीम ने कार्रवाई करते हुए सात आरोपियों को दबोच लिया। इनके पास से 28.210 किलो अफीम का दूध व 84 हजार 230 रुपए बरामद किए गए। तीन लग्जरी वाहन भी जब्त किए गए।
महिला की आड़ में मादक पदार्थ की सप्लाई
ब्यूरो के अनुसार जोधपुर में भगत की कोठी निवासी सोहनलाल पुत्र भैरूलाल मीणा, चित्तौडग़ढ़ में बड़ी सादड़ी निवासी फूलचंद पुत्र भगवतीलाल प्रजापत, पारसोली निवासी लीलाबाई पत्नी गोवर्धन मीना, चित्तौडग़ढ़ में डूंगला निवासी ओमप्रकाश शर्मा पुत्र शंकरलाल, रानीवाड़ा क्षेत्र निवासी पूनमाराम पुत्र कानाराम बिश्नोई, रानीवाड़ा में हर्षवाड़ा निवासी मानाराम पुत्र मादाराम बिश्नोई और भाटीप निवासी भागीरथ पुत्र भारूराम बिश्नोई को गिरफ्तार किया है। आरोपियों में शामिल सोहनलाल व लीला बाई कॅरियर और फूलचंद व ओमप्रकाश शर्मा मलारगढ़ से अफीम के मुख्य सप्लायर के सहयोगी हैं। पूनमाराम बिश्नोई ने मलारगढ़ से अफीम मंगवाई थी। उसके साथ मानाराम व भागीरथ खेप लेने आए थे। मुख्य सप्लायर के बारे में जांच की जा रही है।
करड़ा क्षेत्र में देनी थी सप्लाई
टीम आरोपियों से सख्ती से पूछताछ कर रही है। यह अफीम करड़ा थाना क्षेत्र के तस्करों को दी जानी थी। हालांकि टीम में शामिल अधिकारियों ने जांच का हवाला देते हुए सप्लायर्र्स व खरीददारों के नाम उजागर नहीं किए है, लेकिन बरामद दुग्ध की बाजार कीमत करीब 50 लाख रुपए आंकी जा रही है।
यहां होती है अफीम की बड़ी खपत
जालोर जिले के भीनमाल, सांचौर, रानीवाड़ा, बागोड़ा क्षेत्र में अफीम की बड़ी खपत होती है। क्षेत्र में शादी व सामाजिक कार्यक्रमों के समारोह में अफीम की मान-मनुहार होती है। ऐसे में उदयपुर व मेवाड़ संभाग से तस्कर अफीम की खेप यहां पहुंचाते है। कई बार पुलिस के हत्थे चढ़ पाती है, तो कई बार तस्कर अपने मंसूबें पूरे कर लेते है।