कार्रवाई : बगैर अनुमति और टोकन के मंडी पहुंचा धान, प्रशासन ने इतना ट्रैक्टर धान किया जब्त
- सक्ती एसडीएम द्वारा धान खरीदी केंद्रों में सतत निगरानी और निरीक्षण करने के उद्देश्य से लगाई गई थी टीम

जैजैपुर. प्रशासन की लाख निर्देशों के बावजूद भी जैजैपुर ब्लाक अंतर्गत धान खरीदी केंद्रों में गड़बडिय़ां थमने का नाम नहीं ले रही है। दो दिन पहले ही सेवा सहकारी समिति तुषार में खरीदी प्रभारी के द्वारा व्यापारियों से मिलीभगत कर पुराने धान को तौल करने का मामला अभी शांत ही नहीं हुआ था। इसी कड़ी में एक नया मामला जैजैपुर सेवा सहकारी समिति में आ गया, जहां खरीदी प्रभारी के गैर मौजूदगी में किसान तिरिथ राम चंद्रा पिता खोरस राम चंद्रा के द्वारा सेवा सहकारी समिति के प्रबंधक उमा शंकर चंद्रा से मिलीभगत कर बिना किसी टोकन में नाम नहीं होने बावजूद भी समिति प्रबंधक अपनी जेब भरने के लिए नियम विरुद्ध कार्य कर धान का जबरन तौल करा रहे थे।
इनकी मिलीभगत का खुलासा तब हो गया जब सक्ती एसडीएम के द्वारा धान खरीदी केंद्रों में सतत निगरानी और निरीक्षण करने के उद्देश्य लगाई गई टीम को जानकारी मिली कि जैजैपुर सेवा सहकारी केंद्र में भी बिना टोकन किसान तिरिथ राम पिता खोरस राम के द्वारा समिति प्रबंधक उमा शंकर से मिलीभगत कर धान का तौल करा रहा था। जिसकी जानकारी होने के बाद खरीदी केंद्र में पहुंचे नायब तहसीलदार राहुल पाण्डेय और उनकी टीम के द्वारा 15 ट्रेक्टर ट्राली में से 490 कट्टी धान को जप्त किया गया। जबकि लगभग खुले में पड़े 260 कट्टी धान को भी जप्त किया गया है।
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कुल मिलाकर प्रशासन की इस जप्ती कार्यवाही में 750 कट्टी धान को जप्त किया गया गया है। धान को मंडी अधिनियम के धारा 172 के अंतर्गत कार्यवाही की गई है। नियमों को ताक पर रखकर बिना टोकन के धान खरीदी केंद्र जैजैपुर धान का तौल किया जा रहा था। उससे संचालक मंडल के अन्य विपक्षी सदस्यों में नाराजगी व्याप्त है। समिति के अध्यक्ष रोहित चंद्रा अपने खास लोगों का आवक टोकन नियमों के खिलाफ जारी करवा देतें है। किसानों ने बताया कि अपने आवक टोकन लेने के लिए प्रबंधक के द्वारा लगातार तारीख दिया जाता है। अपने लोगों का बिना टोकन के धान तौल करा देते हैं।
बिना टोकन के धान कैसे पंहुचा केंद्र में
धान खरीदी के लिए बनाए गए नियमों के मुताबिक कोई भी किसान आवक दर्ज कराने एवं जब तक टोकन संख्या नहीं मिलता है तब तक अपने धान को खरीदी केंद्र में नहीं ले जा सकता है। लेकिन जैजैपुर धान खरीदी केंद्र की जो मामला सामने आया है उससे तो यही अंदाजा लगाया जा सकता है। जहां समिति प्रबंधक और संचालक मंडल अपने अपने खास लोगों को उपकृत करने के लिए शासन प्रशासन द्वारा बनाए गए नियमों को धता बताकर अपनी मनमर्जी पूर्वक काम कर रहे हैं। यदि ऐसा नहीं है तो कोई भी किसान बिना किसी टोकन के अपनी धान को खरीदी केंद्र कैसे ले जा सकता है। जिम्मेदारों के हवाले मिलीभगत कर ले भी गया तो उसी दिन ही कैसे उस किसान को बोरी भी मिल गया और तौल भी शुरु हो गया। इससे तो साफ जाहिर होता है जैजैपुर संचालक मंडल और समिति प्रबंधक बड़े किसानों से सेटिंग कर अपनी जेब भरने में लगे हुए है। जबकि खास बात यह है कि खरीदी केंद्र में किसानो के धान को काटां तराजू में तौल किया जाता है।
बने तीन प्रकरण
खाद्य, राजस्व एवं मंडी की संयुक्त टीम ने बुधवार को जांच पड़ताल के दौरान शिवेंद्र कुमार केंवट के कब्जे से १५० बोरा धान जब्त किया है। टीम ने अकलतरा के कीर्तन कुमार सूर्यवंशी से १४५ बोरा धान व ट्रैक्टर जब्त किया है। वहीं सारागांव निवासी देव कुमार से १४६ बोरा धान व ट्रैक्टर जब्त किया है। इनके खिलाफ मंडी अधिनियम की कार्रवाई की गई।
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