पीएमओ कार्यालय तक शिकायत
झर्रा ग्राम में शौचालय निर्माण में गड़बड़ी होने की बात कहते हुए शिकायतकर्ता शीतलबाई तथा दीनदयाल ने पहले स्थानीय स्तर पर शिकायत किया। शिकायत पर कार्रवाई नहीं होते देख उन्होंने इसकी शिकायत प्रधानमंत्री कार्यालय में भेजी, जहां से जांच के लिए कलेक्टर के पास पत्र भेजा गया। कलेक्टर ने सीईओ को शिकायत की जांच करने कहा। इसी आधार पर ग्राम पंचायत झर्रा व आश्रित ग्राम तवली पाली में जांच दल भेजकर वास्तविक स्थिति जानी गई, लेकिन जांच अधिकारियों के प्रतिवेदन को सीईओ ने कूड़े के ढेर में फेंक दिया। पीएमओ कार्यालय के आदेश पर लापरवाही लोगों के समझ से परे है।
दर्जनों शिकायत लंबित
जिले में शौचालय निर्माण को लेकर गड़बड़ी के दर्जनों शिकायत अधिकारियों के समक्ष लंबित हैं। इन शिकायतों पर कार्रवाई करना तो दूर जांच के नाम पर लीपापोती करने की भी कई शिकायतें हैं। सूत्रों का यहां तक कहना है कि जिस मामले में ज्यादा शिकायतें हो रही है, वहां का मामला एसडीएम के पास भेज दिया गया है और शिकायतकर्ताओं को मामला न्यायालय में लंबित होने की बात कही जा रही है। इससे शिकायतकर्ताओं के भी हाथ बंध गए हैं। वहीं शासन के प्रावधानों के तहत शिकायतों पर जांच करने अधिकारी पीछे हट रहे हैं, जिससे गड़बड़ करने वाले अधिकारी व जनप्रतिनिधियों पर सीधी कार्रवाई का प्रावधान है।