गांव जाकर पता चला कि सचिव प्रमिला बर्मन पंचायत में बैठकर मोबाइल संचार क्रांति के तहत ग्रामीणों का फार्म भरने का काम कर रही हैं और एक फार्म के पीछे ५० रुपए ले रही हैं। सचिव द्वारा लोगों से ५०-५० रुपए लेने की वीडियो भी कैमरे में कैद हुई। यह कारनामा शुरूआत से ही चला आ रहा है और सचिव यह भी दावा कर रही है कि इसकी जानकारी जनपद सीईओ को है, लेकिन जनपद सीईओ से बात करने पर उन्होंने पूरे मामले में अनभिज्ञता जाहिर करते हुए मामले की जांच कर कार्यवाही करने की बात कही।
डेंगू के बाद अब स्वाईन फ्लू का खतरा, लोगों को एहतियात बरतने की जरूरत जब धनगांव के ग्रामीणों से बात की गई तो उन्होंने बताया कि मोबाइल संचार क्रांति के नाम पर मनमाने तरीके से अवैध वसूली की जा रही है। धनगांव ग्राम पंचायत के फरमान के आगे गांव के भोल-भाले लोग बेबस हैं। सरपंच और सचिव ग्रामीणों से मोबाइल दिलाने के नाम पर खुलेआम लूट करके उनके साथ छलावा कर रहे हैं। पीडि़त राजेश लहरे ने बताया कि ग्राम पंचायत में मोबाइल संचार क्रांति का फर्म भरने वह गया था। वहां उससे 50 रुपए लिया गया है। राशि नही देने पर सचिव द्वारा रजिस्टर में फार्म एंट्री ही नहीं किया जा रहा है। पांच रुपए लेने के बाद ग्रामीणों को कोई रसीद नहीं दी जा रही है।
एक अन्य ग्रामीण महिला ने बताया कि गांव के लोग मोबाइल संचार क्रांति के लिए जाते हैं तो सचिव उनसे 50 रुपए शुल्क मांगती है। महिला का कहना है कि कानून यह गलत होने के बाद भई इस पर कोई लगाम नहीं लगाई जा रही है। महिला का कहना है कि यदि शुल्क सही तरीके से लिया जाता तो उन्हें उसकी रसीद दी जाती है, लेकिन सचिव रसीद नहीं दे रही है।
त्योहारी सीजन में अमानक स्तर की खाद्य सामग्री की होगी धड़ल्ले से बिक्री, प्रशासन के पास नहीं कोई तैयारी ग्रामीणों का कहना है कि ग्राम पंचायत में 400 फर्जी फार्म मोबाइल संचार क्रांति के नाम पर भरा गया है जिसमे कुछ दिन पहले एक लड़के के द्वारा 40 रुपए लेकर भरा गया था। अब उन फार्म को गलत बताकर पंचायत सचिव प्रमिला बर्मन फिर से 50 रुपय ले फार्म भर रही है। लोगों ने इस मालमे की जांच कर कार्रवाई की मांग की है।
सचिव सरपंच कर रहे ग्रामीणों से लूट
लगातार पामगढ़ जनपद पंचायत में सरपंच और सचिव की मिली भगत से भोले भाले ग्रामीणों को लूटने के कई मामले सामने आ चुके हैं। इसकी शिकायत भी कई बार जनपद सीईओ से की जा चुकी है, लेकिन मामले कोई कार्रवाई न होने से इनके हौसले बुलंद हैं। गत अगस्त माह में ग्राम पंचायत खपरी में सरपंच के द्वारा आवास मित्र के द्वारा लोगों से ५००-५०० रुपए वसूली कराई जा रही थी।
जब इस मामले की तह तक पत्रिका ने पहुंचने की कोशिश की तो संरपंच ने उस पर कोई भी कार्रवाई न होने का दावा किया था। पत्रिका में प्रमुखता से खबर प्रकाशन के बाद और अधिकारियों को वीडियो देने के बाद भी आज तक उस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई। इससे साफ है कि इस भ्रष्टाचार में कहीं न कहीं अधिकारियों का पूरा शह है।
इससे पहले भी हो चुकी कई शिकायतें
इससे पहले भी पामगढ़ के ग्राम पंचायत कोशला में जनपद सदस्य कृष्णा देवी साहू के द्वारा प्रधानमंत्री आवास में पैसा लेने का आरोप लगा था। इस शिकायत पर तत्कालीन पामगढ़ एसडीएम इंद्रजीत बर्मन ने जांच कर कलेक्टर को कार्रवाई के लिए अनुशंशा किया था। जांच में जनपद सदस्य दोषी पाए जाने के बाद भी कलेक्टर ने भाजपा नेता होने के चलते मामले में कोई कार्रवाई नहीं की थी।
जांज में पाया गया था कि जनपद सदस्य पति कन्हैया साहू ने प्रधानमंत्री आवास योजना के लाभार्थियों से दस से १५ हजार रुपए लिया था। इसके जब मामला तूल पकड़ा तो उन्होंने सफाई देते हुए इस मामले से पल्ला झाड़ लिया, जबकि एसडीएम की जांच में जनपद सदस्य पति द्वारा पैसा लेना पाया गया था। लाभार्थियों ने भी बयान में यह कबूल किया था।
-मेरे बारे में जो कहा जा रहा है वो गलत है मैने किसी से पैसा नही लिया है, मेरे नाम पर एक लड़के के द्वारा एक माह पहले फार्म भरा गया था, जबकि मैंने किसी को नहीं बोला था। जनपद सीईओ भी आज आए थे और ग्रामीणों से पूछताछ किए हैं कि उनसे पैसा लिया जा रहा है क्या लेकिन ग्रामीणों ने मना कर दिया- प्रमिला बर्मन, सचिव, धनगांव
-मुझे इसकी कोई जानकारी नहीं है। इसकी जांच कर दोषी पाए जाने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
डीएस यादव, सीईओ, जनपद पंचायत पामगढ़