Chhattisgarh education system राजनैतिक हस्तक्षेप से जिले के सरकारी स्कूलों में और बिगड़ी शिक्षा व्यवस्था, विभाग की अनदेखी
हो रहा है आपके बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़, जिस स्कूल में पढ़ने भेजते हैं वहां है ऐसा हाल
जशपुरनगर. जशपुर जिले में शिक्षा की गुणवक्ता को लेकर जिला प्रशासन की ओर से पिछले कुछ सालों से यशस्वी जशपुर नाम से अभियान चलाया जा रहा है जिसके तहत १०वीं और १२वीं की बोर्ड परीक्षाओं के प्रावीण्य सूचि में जिले के छात्र छात्राओं को लाने के लिए शिक्षकों और स्टूडेंट को समय समय पर उन्मुखीकरण, अतिरिक्त कक्षाओं से लेकर हर प्रकार की कोशिशें की जा रही है और दसी का परिणाम भी रहा कि पिछले दो सालों से जशपुर जिला लगातार १०वीं, १२वीं की बोर्ड परीक्षाओं के परीक्षा परिणाम में अव्वल स्थान पर रहा है और जिले के छात्र-छात्राओं ने बोर्ड परीक्षाओं की प्रावीण्य सूचि में अपना नाम दर्ज कराया है, लेकिन इस शिक्षा सत्र में सिलसिलेवार रूप से स्कूलों में नशे की हालत में शिक्षकों के आने और फिर थोक भाव में राजनैतिक हस्तक्षेप से बेतरतीब तरीके से जिले भर में शिक्षकों का ट्रांसफर आदेश जारी कर दिया गया उसके बाद से जिले की शिक्षा व्यवस्था में भगदड़ मची है जो थमने का नाम नहीं ले रही है।
घर से निकलते ही हो गया स्कूल बस का एक्सीडेंट, बच्चों से भरी बस को ट्रक ने सामने से मारी टक्कर अफरातफरी के आलम में कई स्कूल शिक्षक विहीन तो कई एकल शिक्षकीय हो गए हैं। अब जहां पूरे स्कूल में मात्र एक ही शिक्षक तो ऐसे में स्कूलों में गुणवक्ता के साथ अच्छी रिजल्ट मिले ऐसी कल्पना करना भी ठीक नहीं है। सरकार ग्रामीण बच्चों को शिक्षा को लेकर दूर दूर जाना न पड़े जिसकी वजह से जगह जगह स्कूल तो खोल दिए गए पर ऐसे स्कूलों में शिक्षक व्यवस्ता देने में शासन भूल कर गया। ऐसा ही एक स्कूल है जिले के नारायणपुर क्षेत्र का ग्राम पुटूकेला का प्राथमिक शाला यह स्कूल जशपुर जिले के कुनकुरी ब्लाक के ग्राम पंचायत सेन्द्रीमुण्डा का आश्रित ग्राम का है। यह बहुत पुराना स्कूल है यहां लगभग 30 विद्यार्थी अध्ययन करते हैं। कक्षा एक से पांच तक एक शिक्षक विगत दो सालों से अकेला पढ़ा रहा है क्या यह शिक्षक प्रतिदिन कक्षा पहली से पांचवी तक को पढ़ा पाता होगा। ग्रामीणों ने बताया कि दो साल पूर्व यहां दो शिक्षक हुआ करते थे एक को प्रमोशन मिलने पर अन्यंत्र जगह चले जाने से स्कूल अब एक शिक्षक के भरोसे चल रहा है। ऊपर से शिक्षक का शारीरिक स्वास्थ्य ठीक नही रहता फिर भी प्रतिदिन स्कूल पहुंच जाते हैं, जितना सम्भव होता है क्लास इनके द्वारा लिया जाता है।
गर्लफ्रेंड के साथ होटल के रूम में कर रहा था मज़े तभी दरवाज़े से आयी आवाज़, अजी सुनते हो !स्कूल भवन भी हुआ जर्जर : ग्रामीणों से मिली जानकारी के अनुसार स्कूल का भवन बहुत जर्जर अवस्था मे है। बच्चों की पढाई के दौरान स्कूल के छत से पानी टपकने के साथ साथ छत का प्लास्टर भी गिरते रहता है, जिसकी वजह से बच्चों के पालक बच्चों को स्कूल भेजने में भी कतराते हैं। कंही प्लास्टर किसी बच्चे के ऊपर गिर न जाए यह भय बराबर बना रहता है। स्कूल की खिडक़ी भी टूटी हुई है। ग्रामीणों ने कहा कि भवन मरम्मत के साथ साथ एक शिक्षक की अत्यंत आवश्यकता है, अगर शिक्षक की व्यवस्था शासन और विभाग नही करती है तो हम अपने बच्चे के भविष्य को अंधकार में नही डाल सकते मजबूरन हमे अपने बच्चों को दूसरे स्कूल भेजना पड़ेगा। इस मामले को लेकर कुनकुरी विधायक यू डी मिंज से चर्चा की गई तो उन्होंने कहा कि अभी स्थानांतरण प्रक्रिया चल रही है दूसरी लिस्ट जारी की जाएगी जहां एकल शिक्षक हैं वहां अवश्य ही एक ओर शिक्षक की व्यवस्था की जाएगी।
स्टेशन के बाहर से पुलिस ने महिला को किया गिरफ्तार, बेचने के फिराक में थी गैरकानूनी सामानहाथ पर हाथ धरे बैठे हुए हैं अधिकारी : इस विद्यालय में गांव वाले एव संकुल के माध्यम से कई बार एक और शिक्षक की मांग विगत दो साल से लगातार की जा रही है पर अब तक किसी अधिकारी ने यहां शिक्षक की पदस्थापना या न कहीं से शिक्षक की व्यवस्था करने की कोशिश नहीं की। क्या अधिकारी इस बात से वाकिफ नहीं हैं कि एक शिक्षक पांच क्लास तक कैसे पढ़ाएगा। ऊपर से आए दिन जानकारी स्कूलों से मंगाया जाता है, ऐसे में शिक्षक को बच्चों को पढ़ाने के बजाय संबधित जानकारी भेजना उसके लिए महत्वपूर्ण हो जाता है।