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ब्रेक फेल होने से बस ने ग्रामीण को मारी टक्कर, मौत, परिजन ने किया हंगामा

locationझाबुआPublished: Nov 09, 2022 12:51:36 am

Submitted by:

binod singh

हंगामे की आशंका के चलते पुलिस ने लोडिंग ऑटो से ही शव को पोस्टमार्टम के लिए रवाना किया

ब्रेक फेल होने से बस ने ग्रामीण को मारी टक्कर, मौत, परिजन ने किया हंगामा
ब्रेक फेल होने से बस ने ग्रामीण को मारी टक्कर, मौत, परिजन ने किया हंगामा
झाबुआ. बस के ब्रेक फेल होने से झाबुआ बस स्टैंड पर एक ग्रामीण की मौत हो गई। इसके बाद गुस्साए ग्रामीणों ने बस स्टैंड पर जमकर हंगामा किया। उन्होंने बस पर न केवल पथराव किया, बल्कि वे उसमे आग भी लगाने वाले थे। ऐसे में पुलिस को हल्का बल प्रयोग करना पड़ा। तब जाकर हालात काबू में हुआ। इस दौरान कुछ समय के लिए पूरा बस स्टैंड पुलिस छावनी में तब्दील हो गया। बाद में बस को पुलिस ने कोतवाली भिजवा दिया गया। घटना मंगलवार दोपहर करीब पौने एक बजे की है। ग्राम कयड़ावद बड़ी निवासी मुकेश पिता पिशु डामोर (30) किसी काम से झाबुआ आया था। इस दौरान वह बस (क्रमांक जीजे 20 वी 7330) की डिक्की से समान निकाल रहा था। तभी पीछे से तेज रफ्तार बस (क्रमांक एमपी 13 पी 3033) आ गई। बस के ब्रेक फेल होने से चालक नियंत्रण खो बैठा और इधर मुकेश को हटने का मौका ही नहीं मिला। ऐसे में वह दोनों बस के बीच में आ गया और उसकी मौत हो गई। हादसे में मृतक मुकेश का सिर दोनों बसों की चपेट में आ गया, जिससे मृतक के सिर के अवशेष 15 से 20 फीट दूर तक फैल गए। घटना के बाद लोग बस के नीचे घुसकर फोटो वीडियो बना रहे थे, जिन्हें पुलिस ने हटाया। हादसे के बाद चालक-परिचालक फरार हो गए। इस घटना के करीब आधे घंटे बाद पुलिस मौके पर पहुंची। तब तक मुकेश का शव बस के नीचे ही पड़ा था। पुलिस ने आकर पहले बस को हटाया और शव पर कंबल डाला। तब तक मृतक की शिनाख्त भी हो गई।
पुलिस को ये अंदेशा था कि यदि शव को नहीं हटाया गया तो ग्रामीण आकर हंगामा करेंगे। ऐसे में शव वाहन के आने का इंतजार किए बिना ही मुकेश के शव को एक लोङ्क्षडग ऑटो रिक्शा में पोस्ट मार्टम के लिए जिला अस्पताल पहुंचा दिया।
ग्रामीणों ने आते ही शुरू कर दिया हंगामा
हादसे की जानकारी लगने के बाद मुकेश का भाई और अन्य ग्रामीण बस स्टैंड पहुंच गए। यहां उन्होंने आते ही हंगामा शुरू कर दिया। उनका कहना था हमारे आने से पहले शव को क्यों हटाया गया। इस बात पर काफी देर तक बहस चलती रही। मृतक मुकेश की मां तो बस के आगे बैठकर रोने लगी। हालात की गंभीरता को देखते हुए एसडीओपी बबिता बामनिया भी दल बल के साथ बस स्टैंड पहुंच गई। ग्रामीण इतने ज्यादा आक्रोशित थे कि उन्होंने दो बार बस में आग लगाने का प्रयास किया। पहली बार तो मुकेश का भाई माचिस लेकर बस के अंदर घुस गया। उसे जैसे तैसे बाहर निकाला। इसी हंगामे के बीच कुछ ग्रामीण ने पत्थर और ल_ से बस के कांच भी फोड़ दिए। पुलिस हालात संभालने का प्रयास कर ही रही थी कि मृतक का भाई कहीं से पेट्रोल की केन लेकर आ गया। वह बस में आग लगाने की फिराक में था। पुलिस ने जैसे-तैसे उससे केन छीनी। इस छीना झपटी में पेट्रोल सडक़ पर ढुल गया। ऐसे में पुलिस को हल्का बल प्रयोग करना पड़ा।स्थिति की गंभीरता को देखते हुए लाइन से अतिरिक्त फोर्स बुलाना पड़ा। पुलिस बल को देखकर हंगामा कर रहे ग्रामीण तितर-बितर हो गए। इसके बाद ग्रामीणों को समझाकर जिला अस्पताल रवाना किया। जब सब चले गए तो फिर बस को हटाकर कोतवाली पहुंचाया।
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