डेमू के महिला डिब्बे में सुविधाघर ही नहीं
ट्वीट के एक दिन बाद भी समस्या कायम
रतलाम. चित्तौडग़ढ़-रतलाम-चित्तौडग़ढ़ डेमू ट्रेन में महिलाओं के डिब्बे में सुविधाघर नहीं है। इससे ट्रेन में यात्रा करने वाली महिलाएं परेशान हो रही है।
मामले में जागरुक महिला यात्रियों ने ट्वीट किया, लेकिन एक दिन बाद तक समस्या यथावत है। एेसे में अब महिला यात्रियों के सामने परेशानी है, लेकिन उसका समाधान नहीं है।
रेलवे ने नीमच तक चलने वाली डेमू को चित्तौडग़ढ़ तक विस्तारित तो कर दिया, लेकिन उसमे पर्याप्त सुविधाएं नहीं दी है। एेसे में महिला यात्रियों को परेशानी वाला सफर करने को मजबूर होना पड़ रहा है। इन सब के बीच जब जागरूक यात्री ट्वीट करके रेलवे को समस्या बताए तो जवाब तो मिलता है कि मामले को जिम्मेदार विभाग को भेजा जा रहा है, ेलकिन उसका समाधान एक दिन बाद तक नहीं होता है।
इसी प्रकार एक अन्य शिकायत ट्वीट पर प्लेटफॉर्म नंबर दो पर चल रही स्टॉल को लेकर की गई। इसमें चाय के दाम ५ रुपए के बजाए १० रुपए लेने का उल्लेख किया है। इस मामले में अधिकारियों को १ दिसंबर को शिकायत हुई, लेकिन दो दिसंबर तक मामले में वाणिज्य विभाग ने कार्रवाई नहीं की।
ये है पूरा मामला
ट्रेन में सफर कर रही यात्री सुनीता जैन ने एक दिसंबर को ट्वीट किया कि ट्रेन नंबर ७९३०४ चित्तौडग़ढ़-रतलाम डेमू ट्रेन के महिला डिब्बे में सुविधाघर नहीं है। डीआरएम रतलाम को किए ट्वीट के बदले रेलवे ने जवाब दिया कि संबंधित मामले को जिम्मेदार विभाग के पास भेजा जा रहा है। इसके एक दिन बाद तक इस ट्रेन के महिला डिब्बे में सुविधाघर की व्यवस्था रेलवे नहीं कर पाया। १०० किमी से अधिक की कोई ट्रेन चलती है तो सुविधाघर जरूरी है। डेमू को तो २५० किमी से अधिक की दूरी पर चलाया ही नहीं जा सकता। इसलिए महू से चलने वाली डेमू को चित्तौडग़ढ़ व भीलवाड़ा तक चलाने के लिए रतलाम आने के बाद ट्रेन के नंबर ही बदल दिए।
सुविधा उपलब्ध कराएंगे
“मामले में ट्वीट के बाद जिम्मेदार विभाग को कहा है, वह नियम अनुसार सुविधा उपलब्ध कराएगा, लेकिन कार्रवाई होगी।”
-जेके जयंत, जनसंपर्क अधिकारी, रतलाम रेल मंडल
Home / Jhabua / डेमू के महिला डिब्बे में सुविधाघर ही नहीं