जलजीवन मिशन में शामिल 748 गांवों के लोग आज भी पानी के लिए तरस रहे
780 गांव शामिल, जिनमें 32 गांव में काम पूर्ण
झाबुआ
Published: March 31, 2022 01:33:09 am
झाबुआ. आजादी के 75 साल बाद भी क्षेत्र में लोग सूखी नदियों और तालाबों में झिरी खोद के पानी पीने को मजबूर हैं। गर्मी में पानी की कमी से सैकड़ों गांवों का जन-जीवन तो प्रभावित है ही इसके साथ ही पालतू पशुओं के पीने के लिए जरूरी पानी की जद्दोजहद भी थमने का नाम नहीं ले रही है।
प्रशासन जलापूर्ति के दावे तो कर रहा है, लेकिन हकीकत कोसों दूर है। जिला मुख्यालय से महज 2 किमी दूर ग्राम पंचायत आंबा खोदरा में हालात प्रशासनिक दावों की पोल खोल रहा है। सरपंच तोलिया भाबोर ने बताया कि गांव में पानी की भारी किल्लत है। यहां लगभग 1400 लोग निवास करते हैं जो 3 हैंडपंप के भरोसे है।
गांव में 6 हैंडपंप पहले से बंद पड़े हैं। यहां 1 साल पहले जल जीवन मिशन के अंतर्गत पानी की टंकी स्वीकृत हुई थी। एस्टीमेट भी बनाया गया था, लेकिन टंकी का निर्माण अब तक नहीं हुआ। योजना अधर में ही अटक गई। पीएचई से भी कई बार मांग की गई ,लेकिन विभागीय कर्मचारियों का कहना है कि हैंडपंप में अतिरिक्त पाइप डालने का खर्चा ग्रामीणों को उठाना पड़ेगा। नतीजन ग्रामीण महिलाएं दिनभर हैंडपंप पर पानी के लिए लाइन लगा रही हैं।
सभी 6 ब्लॉक में है पानी की किल्लत
जिले में सभी 6 ब्लॉक में पानी की भारी किल्लत है।किसान अमृतलाल गुर्जर ने बताया कि अन्य ब्लॉक से पेटलावद की स्थिति थोड़ी सी बेहतर है, लेकिन अब भी क्षेत्र में बहुत से गांव में पानी की समस्या आ रही है। धतुरिया में गर्मियों में जल स्तर नीचे चले जाने से समस्या बढ़ जाती है। छापरी , मरगा रुंडी , खाल खांडवी, माल खांडवी , हीरा खदान , बोचका , डोचका , आंबुआ , साड़ , सदावा , काकड़ कुआ , दौलतपुरा , लंबेला कोकावद ,गलती , कचला फलिया भामची नदी में झिरी खोद कर पानी की प्यास बुझा रहे है। नाहरपुरा , सात बिल्ली , ढेबर , ढेकल , जैसे अनेक गांव गर्मियों में जलस्तर नीचे गिर जाने से प्रभावित होते हैं। नलदी , खपेडिया माल में धोबडा नदी से पानी भर कर लाते हैं। अधिकारियों के गैर जिम्मेदाराना व्यवहार से ग्रामीण आज भी मूलभूत और अतिआवश्यक पानी की सुविधा से वंचित हैं।
32 गांव में काम पूरा हो चुका
जिले में कुल 780 गांव में जल जीवन मिशन के अंतर्गत काम होना है। अभी तक 32 गांव में काम पूरा हो चुका है। बुधवार को बेढ़ावा, पांचखेडिय़ा, अगराल, खच्चर टोडी, झारकीटोडी में योजना का शुभारंभ हुआ।
महेश चंद्र जोशी, सब इंजीनियर , तकनीकी शाखा , पीएचइ विभाग झाबुआ

जलजीवन मिशन में शामिल 748 गांवों के लोग आज भी पानी के लिए तरस रहे
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