चिड़ावा शहर में सडक़ों पर छोड़ दिए मौत के गड्ढे
झुंझुनूPublished: Apr 25, 2019 12:35:38 pm
चिड़ावा शहर में सडक़ों पर छोड़ दिए मौत के गड्ढे
कभी भी हो सकते हैं हादसे,भ्रष्टाचार की बू चिड़ावा. शहर की गोगाजी की ढाणी मेंवार्ड एक-दो के बीच में नवनिर्मित सीसी रोड पर बनाए चैंबर के फेरो कवर महज कुछ ही दिन में जवाब दे गए। सडक़ पर बने अधिकतर चैंबर के फेरो कवर टूटने से हर समय हादसा होने का डर बना रहता है। वार्डवासियों ने पालिका प्रशासन को लिखा है, मगर फेरो कवर नहीं बदले गए। ऐसे में वार्ड के लोगों ने हादसे की संभावना को कम करने के लिए टूटे हुए फेरो कवर के चारों ओर पत्थर व छड़ी रख दी।
चिड़ावा शहर में सडक़ों पर छोड़ दिए मौत के गड्ढे
चिड़ावा शहर में सडक़ों पर छोड़ दिए मौत के गड्ढे कभी भी हो सकते हैं हादसे,भ्रष्टाचार की बू
चिड़ावा. शहर की गोगाजी की ढाणी मेंवार्ड एक-दो के बीच में नवनिर्मित सीसी रोड पर बनाए चैंबर के फेरो कवर महज कुछ ही दिन में जवाब दे गए। सडक़ पर बने अधिकतर चैंबर के फेरो कवर टूटने से हर समय हादसा होने का डर बना रहता है। वार्डवासियों ने पालिका प्रशासन को लिखा है, मगर फेरो कवर नहीं बदले गए। ऐसे में वार्ड के लोगों ने हादसे की संभावना को कम करने के लिए टूटे हुए फेरो कवर के चारों ओर पत्थर व छड़ी रख दी। वार्डवासियों ने बताया कि जल्द ही फेरो कवर नहीं बदले तो आंदोलन किया जाएगा। जानकारी के अनुसार कुछ माह पहले पालिका प्रशासन ने गोगाजी मंदिर तिराहा के कुछ आगे से बाइपास (श्योपुरा रोड) तक सीसी रोड का निर्माण कराया था। सडक़ के एक तरफ नाले के चैंबर बनाए गए थे। जिस पर सडक़ निर्माण के साथ ही फेरो कवर भी रखवा दिया गया था। इस सडक़ पर करीब 11 चैंबर बनाए गए। जिसमें से अधिकतर के फेरो कवर टूट गए। वार्ड वासियों के अनुसार फेरो कवर बदलवाने बाबत नगरपालिका प्रशासन को भी अवगत करवाया जा चुका है। मगर ध्यान नहीं दिया जा रहा। गोगाजी की ढाणी व आस-पड़ौस में दो-तीन निजी व सरकारी स्कूल संचालित हो रही हैं।
नाले की सफाई नहीं, जलभराव
गोगाजी मंदिर क्षेत्र से श्योपुरा की तरफ जाने वाली इस सडक़ के किनारे बने नाले की समय पर सफाई भी नहीं होती। नाला अवरूद्ध होने के कारण गंदा पानी सडक़ पर आ रहा है। जो कि जन सहयोग से संचालित पंडित गणेशनारायण गौशाला के गेट पर एकत्र हो जाता है। जलभराव के कारण राहगिरों को भी परेशानी होती है।
टूटे फेरो कवर से हादसे का डर
गोगाजी की ढाणी से बाइपास तक बनी सडक़ पर करीब 10-11 चैंबर बनाए गए हैं। जिसमें से छह-सात चैंबर के फेरो कवर पूरी तरह से टूट चुके हैं। वार्ड वासियों ने बताया कि खुले चैंबर से आए दिन हादसे हो रहे हैं। चैंबर में बेसहारा पशु गिरते रहते हैं। ऐसे में वार्ड के लोगों ने चैंबर के बाहर पत्थर व छड़ी आदि रखी दी।जिससे की हादसे रोके जा सके।