scriptइस कलाकार ने मिट्टी पर उकेरी जल परी की कलाकृत्ति, दंग रह गए सभी | the water fairy carved by this artist, stunned everyone | Patrika News

इस कलाकार ने मिट्टी पर उकेरी जल परी की कलाकृत्ति, दंग रह गए सभी

locationझुंझुनूPublished: Jan 20, 2020 01:01:37 pm

Submitted by:

Jitendra

www.patrika.con/jhunjhun news

इस कलाकार ने मिट्टी पर उकेरी जल परी की कलाकृत्ति, दंग रह गए सभी

इस कलाकार ने मिट्टी पर उकेरी जल परी की कलाकृत्ति, दंग रह गए सभी

झुंझुनूं. जल बचाने के लिए ज्यादातर रैलियां, भाषण या कार्यक्रम ही होते हैं। परंतु एक कलाकार ने मिट्टी पर जल परी की कलाकृत्ति उकेरी तो सभी दंग रह गए। इस कलाकार ने पानी बचाने का संदेश देने के लिए यह कलाकृति मिटटी पर उकेरी है। बुहाना क्षेत्र के बाबा उम्मदसिंह मेला मैदान के पास स्थित मिट्टी के टीले पर काजला के बास के कलाकार उम्मेद जांगिड़ ने मिट्टी पर जल बचाने की आकृति को बनाया। उम्मेद जांगिड़ ने जल संरक्षण के महत्व को लोगों को बताते हुए जागृत किया कि हमारा देश कृषि प्रधान देश है। ऐसे में 80 प्रतिशत से अधिक पानी का कृषि में उपयोग होता है। ऐसे में हम सभी लोगों को अधिक से अधिक जल बचाना चाहिए। उम्मेद जांगिड़ ने मिट्टी की यह आकृति लोगों को जल संरक्षण के प्रति जागरुक करने के लिए बनाई।

यह शख्स ८० साल की उम्र में अपनी पेंशन से लगा रहा है पेड़
बाघोली गांव के नारायणा राम सैनी (८०) पिछले १५ वर्षों से गांव की काटली नदी के तट पर बने मोक्ष धाम सहित पहाड़ी पर स्थित मण्ढी वाले बालाजी, पथवारी माता, हीरमल , भोमियाजी मंदिर सहित सार्वजनिक स्थलों पर लगभग सैकड़ों पेड़ लगा चुका है। नारायणा राम का पेड़ों से बच्चों की तरह इतना मोह है कि वह बिना किसी की सहायता के अपनी वृद्धाअवस्था पेंशन के खर्च पर पेड़ लगा रहा है। नारायणा पानी की व्यवस्था के लिए हर जगह के लिए अलग- अलग दिन तय कर रखे हैं। उसके लगाए पेड़ों में नीम, बड़, पीपल सहित छायादार पेड़ शामिल है। पेड़ों की देखरेख के चक्कर में नारायणा इस उम्र में कहीं नहीं आता-जाता है।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो