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हरियाणा का वो IAS जिसका रिटायरमेंट के बाद भी पीछा नहीं छोड़ रहे विवाद, अब ये आई नई आफत

locationजींदPublished: Dec 09, 2019 06:44:51 pm

Submitted by:

Devkumar Singodiya

पानीपत के सेक्टर 11 में करोड़ों रुपए की बेशकीमती भूमि पर शोरूम बनने के मामले में लोकायुक्त ने पानीपत के पूर्व डीसी समेत पांच के खिलाफ कार्रवाई के आदेश जारी किए हैं।

इस आईएएस का रहा है विवादों से नाता, रिटायरमेंट के बाद नई जांच शुरू

इस आईएएस का रहा है विवादों से नाता, रिटायरमेंट के बाद नई जांच शुरू

चंडीगढ़. पानीपत के सेक्टर-11 में करोड़ो रुपए की भूमि पर अवैध कब्जे हटवाने में लापरवाही का दोषी मानते हुए लोकायुक्त जस्टिस एनके अग्रवाल ने सरकार को पानीपत के तत्कालीन डीसी समीर पाल सरो, तत्कालीन चीफ एडमिनिस्ट्रेटर एचएसवीपी, एडमिनिस्ट्रेटर रोहतक, पानीपत के एस्टेट ऑफिसर विकास ढांडा व दीपक घनघस के विरूद्ध दंडात्मक कार्रवाई करने की सिफारिश की है। लोकायुक्त ने सरकार से की गई कार्रवाई के बारे में 3 महीने में रिपोर्ट भी तलब की है।

 

आरटीआई एक्टिविस्ट ने की थी शिकायत

आरटीआई एक्टिविस्ट पीपी कपूर ने लोकायुक्त को 2016 को शिकायत में कहा था कि सैक्टर-11 में गरीबों के लिए आरक्षित 15 आवासीय प्लाटों पर हैदराबादी शमशान भूमि समिति के दंबगो ने जबरन कब्जा कर 22 शोरूम बना दिए हैं। इस पर एचएसवीपी के एस्टेट आफिसर ने तत्कालीन डीसी समीर पाल सरो से इन अवैध कब्जों को गिराने के लिए पुलिस फोर्स देने के लिए पत्र लिखे थे। परंतु तत्कालीन डीसी समीरपाल सरो ने राजनीतिक दबाव के चलते पुलिस फोर्स की अनुमति नहीं दी।

 

अधिकारियों की कब्जेधारियों से थी मिलीभगत

लोकायुक्त जस्टिस एनके अग्रवाल ने सरकार को भेजी अपनी जांच रिपोर्ट में दोषी पाए गए अधिकारियों के विरूद्ध सख्त टिप्पणी की है। लोकायुक्त ने रिपोर्ट मेें कहा कि यह हैरानी की बात है कि एचएसवीपी के चीफ एडमिनिस्टे्रटर ने इन अवैध कब्जो को गिराने व प्रशासक एचएसवीपी रोहतक सहित सभी दोषी अधिकारियों के विरूद्ध विभागीय कार्रवाई करने के बजाए प्रशासक एचएसवीपी रोहतक की अध्यक्षता में चीफ टाऊन प्लानर व अधीक्षक (अर्बन ब्रांच) एचएसवीपी पंचकूला की एक कमेटी गठित कर दी। इस उच्चस्तरीय कमेटी ने 2018 की रिपोर्ट में एडमिनिस्ट्रेटर रोहतक को 2 दिन में हैदराबादी शमशान भूमि ट्रस्ट को यह भूमि अलॉट करने का प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिए। लोकायुक्त रजिस्ट्रार एमएस सुल्लर ने 2019 की जांच रिपोर्ट में एचएसवीपी के इन सभी अधिकारियों की अवैध कब्जाधारियों से मिलीभगत होना पाया था।

 

आईएएस सरो के विरूद्ध लोकायुक्त का तीसरा फैसला

हाल ही में सेवानिवृत्त हुए आईएएस समीर पाल सरो के खिलाफ लोकायुक्त का यह पहला फैसला नहीं है। पीपी कपूर ने बताया कि इससे पहले उनकी शिकायत पर लोकायुक्त जस्टिस एनके अग्रवाल ने तत्कालीन डीसी समीरपाल सरो सहित 5 आईएस के विरूद्ध अंबाला मनरेगा घोटाला में भ्रष्टाचार की धाराओं में मुकद्दमा दर्ज करने की सिफारिश की थी। इसी तरह मॉडल टाऊन पानीपत के आवासीय क्षेत्र में अवैध शॉपिंग मॉल निर्माण के मामले में भी लोकायुक्त ने तत्कालीन डीसी समीर पाल सरो व एडीसी आरएस वर्मा सहित नगर निगम पानीपत के 4 अधिकारियों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई की सिफारिश सरकार को कर रखी है।

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