व्यवसाय के सिलसिले में बैंक से सीसी लिमिट व आयकर रिटर्न भरने के लिए उसने चार साल पहले गौरव से सम्पर्क किया था। इसके लिए उसने सात हजार रुपए और लिमिट के बदले दो प्रतिशत कमीशन मांगा। उसने गौरव को पेन कार्ड व अन्य दस्तावेज सीए को सौंप दिए। वर्ष २०१५ के लिए उसका आयकर रिटर्न भर दिया गया।
गत दिनों सेल्स टैक्स विभाग ने प्रकाश को फोन कर उसके नाम से अरोड़ा सप्लायर्स नामक फर्म खुलने और उसके खाते से ३.६७ करोड़ रुपए के लेन-देन की जानकारी दी। जबकि उसे न तो फर्म की जानकारी थी और न ही उसने लेन-देन के लिए चेक पर हस्ताक्षर किए थे।
उदयमंदिर थाने के एसआई महेन्द्रसिंह का कहना है कि सीए गौरव माहेश्वरी ने जयपुर की महिला सीए को मास्टर माइण्ड बताया था। महिला सीए पर अपने चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी के नामक मोबाइल सिम से कई फर्में बनाने का भी आरोप है। पुलिस महिला सीए से पूछताछ करने शनिवार को जयपुर के वैशाली नगर में जगदंबा कॉलोनी पहुंची, जहां लॉक लगा मिला। महिला सीए के मोबाइल स्विच ऑफ होने पर पुलिस ने उसके पिता से सम्पर्क किया। तब उनके शादी के सिलसिले में अलवर होने का पता लगा। पिता ने पुत्री को निर्दोष बताया। पुलिस ने जोधपुर चलकर जांच में सहयोग करने का आश्वासन दिलाया। महिला सीए के परिवार सहित रात को जयपुर लौटने की जानकारी है। संभवत: पुलिस उसे शनिवार को जोधपुर लेकर आ सकती है।