कुलपति प्रोफेसर त्रिवेदी ने बताया कि स्नातक के बाद स्नातकोत्तर स्तर पर प्रवेश में काफी दिक्कतें सामने आती है। कई विद्यार्थियों को प्रवेश से वंचित होने की स्थिति भी हो जाती है। इसके चलते अब स्नातकोत्तर स्तर पर प्रवेश के लिए प्रवेश परीक्षा आयोजित करने पर विचार किया जा रहा है। जिस पर विभागाध्यक्षों ने भी सहमति जताई है। अब इस संबंध में एक कार्य योजना बनाई जा कर एकेडमिक काउंसिल व अन्य स्तरों पर इसे पारित करवाया जाएगा।
कुलपति ने विभागाध्यक्षों को सख्त निर्देश दिए हैं कि अब शिक्षकों की और कर्मचारियों की उपस्थिति बायोमेट्रिक से ही की जाएगी। जिसके लिए जिन विभागों में बायोमेट्रिक मशीनें खराब पड़ी है, उन विभागों में बायोमेट्रिक मशीन ठीक करवाने के लिए निर्देश दिए जा रहे हैं। हालांकि कुछ शिक्षकों ने अलग-अलग संकायों में कक्षाएं होने को लेकर दिक्कत बताई, लेकिन कुलपति ने बायोमेट्रिक उपस्थिति दर्ज किए जाने पर ही सख्ती दिखाई।
कुलपति प्रोफेसर त्रिवेदी ने बताया कि सरकार की ओर से स्थापित स्किल डेवलपमेंट विश्वविद्यालय के साथ एमओयू किया जाना प्रस्तावित किया गया है। जिसमें स्किल डेवलपमेंट कोर्सेज विश्वविद्यालय में स्नातक और स्नातकोत्तर छात्रों के लिए चलाए जाएंगे। स्किल डेवलपमेंट कोर्स इसके बाद छात्रों को ट्रेनिंग और प्लेसमेंट की सुविधा भी दी जाएगी। जिससे विश्वविद्यालय में अध्ययनरत छात्रों का अधिक से अधिक प्लेसमेंट हो पाए।
कुलपति ने विभागाध्यक्षों और अधिष्ठाताओं को नवीन पाठ्यक्रम और पाठ्यक्रमों का परिमार्जन करने के भी निर्देश दिए हैं। वर्तमान के परिदृश्य के अनुरूप पाठ्यक्रमों में बदलाव किया जाएगा ताकि विद्यार्थियों को पुराने पाठ्यक्रम में अध्ययन करने की विवशता नहीं रहे।