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अभी सिंगल डेकर ट्रेन, उसका रफ्तार भी थमी
जोधपुर से अभी सूखा बंदरगाह कॉनकोर से मुंद्रा पोर्ट तक सिंगल कंटेनर ट्रेन चलती है। कंटेनर नहीं होने से इसकी रफ्तार पर भी एक तरह से ब्रेक लगे हुए हैं। निर्यातकों का कहना है कि इस ट्रेन में एक बार में करीब 100 कंटेनर ही ले जा सकते हैं, जबिक डबल डेकर ट्रेन एक बार में करीब 350 कंटेनर ले जा सकती है। यदि जोधपुर से इस ट्रेन की सुविधा मिल जाए तो समय के साथ पैसा भी बच सकता है। कंटेनर जल्दी लोड-अनलोड होंगे तो कंटेनर की समस्या का समाधान भी हो सकेगा। डबल डेकर का भाड़ा भी सिंगल कंटेनर ट्रेन से कम है। इससे दो साल से मुश्किलों में फंसे निर्यातकाें को कुछ आर्थिक राहत भी मिल सकती है।
अभी सिंगल डेकर ट्रेन, उसका रफ्तार भी थमी
जोधपुर से अभी सूखा बंदरगाह कॉनकोर से मुंद्रा पोर्ट तक सिंगल कंटेनर ट्रेन चलती है। कंटेनर नहीं होने से इसकी रफ्तार पर भी एक तरह से ब्रेक लगे हुए हैं। निर्यातकों का कहना है कि इस ट्रेन में एक बार में करीब 100 कंटेनर ही ले जा सकते हैं, जबिक डबल डेकर ट्रेन एक बार में करीब 350 कंटेनर ले जा सकती है। यदि जोधपुर से इस ट्रेन की सुविधा मिल जाए तो समय के साथ पैसा भी बच सकता है। कंटेनर जल्दी लोड-अनलोड होंगे तो कंटेनर की समस्या का समाधान भी हो सकेगा। डबल डेकर का भाड़ा भी सिंगल कंटेनर ट्रेन से कम है। इससे दो साल से मुश्किलों में फंसे निर्यातकाें को कुछ आर्थिक राहत भी मिल सकती है।
--------------- हैण्डीक्राफ्ट निर्यात पर एक नजर
- 32 हजार कंटेनर्स सालाना निर्यात
- 2500-3000 कंटेनर्स प्रतिमाह जाते हैं
- 80 से अधिक देशों में जाता है जोधपुरी हैण्डीक्राफ्ट
- 800 से अधिक हैण्डीक्राफ्ट निर्यातक
- 2500 से अधिक हैण्डीक्राफ्ट इकाइयां
- 32 हजार कंटेनर्स सालाना निर्यात
- 2500-3000 कंटेनर्स प्रतिमाह जाते हैं
- 80 से अधिक देशों में जाता है जोधपुरी हैण्डीक्राफ्ट
- 800 से अधिक हैण्डीक्राफ्ट निर्यातक
- 2500 से अधिक हैण्डीक्राफ्ट इकाइयां
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इनका कहना है... पिछले लंबे समय से खाली कंटेनर्स की समस्या का सामना कर रहे है। माल भाड़ा भी एक चुनौती है। कंटेनर्स समय पर विदेश नहीं पहुंचने से निर्यातकों को नुकसान हो रहा है। रेलमंत्री को प्रतिवेदन भेजकर जोधपुर से मुंद्रा पोर्ट तक डबल डेकर कंटेनर ट्रेन चलाने की मांग की है।
-डॉ. भरत दिनेश, अध्यक्ष
इनका कहना है... पिछले लंबे समय से खाली कंटेनर्स की समस्या का सामना कर रहे है। माल भाड़ा भी एक चुनौती है। कंटेनर्स समय पर विदेश नहीं पहुंचने से निर्यातकों को नुकसान हो रहा है। रेलमंत्री को प्रतिवेदन भेजकर जोधपुर से मुंद्रा पोर्ट तक डबल डेकर कंटेनर ट्रेन चलाने की मांग की है।
-डॉ. भरत दिनेश, अध्यक्ष
जोधपुर हैण्डीक्राफ्ट एक्सपोर्टर्स एसोसिएशन