scriptगेहूं देने में एफसीआई की मनमानी, 50 में से 35 ट्रकें खाली ही खड़े रहे | FCI: Irregular distribution of wheat in Jodhpur | Patrika News

गेहूं देने में एफसीआई की मनमानी, 50 में से 35 ट्रकें खाली ही खड़े रहे

locationजोधपुरPublished: Jun 14, 2020 08:15:53 pm

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– राशन की दुकानों पर समय पर नहीं पहुंच रहा गेहूं, जनता के साथ राशन डीलर परेशान- प्रवासी व्यक्ति 17 जून तक ले सकेंगे गेहंू व चना

गेहूं देने में एफसीआई की मनमानी, 50 में से 35 ट्रकें खाली ही खड़े रहे

गेहूं देने में एफसीआई की मनमानी, 50 में से 35 ट्रकें खाली ही खड़े रहे

जोधपुर. भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) और राजस्थान राज्य नागरिक आपूर्ति निगम के मध्य तालमेल नहीं होने का खामियाजा जनता को भुगतना पड़ रहा है। जोधपुर जिले में तकरीबन एक तिहाई राशन दुकानों पर गेहूं नहीं है। रविवार को भी एफसीआई ने गेहंू लेने के लिए खड़े 50 ट्रकों में से केवल 15 में ही गेहूं भरा। जिले में आपूर्ति के लिए खड़े 35 ट्रक खाली ही रखे। समय पर गेहूं नहीं देने को लेकर शाम को एफसीआई के बाहर राशन डीलर्स की भी नोक झोंक हो गई। ऐसे में सोमवार को फिर से कई प्रवासियों को राशन की दुकान से खाली हाथ लौटना पड़ा।
एफसीआइ के स्वयं द्वारा भी गेहूं खरीद की जा रही है। श्रीगंगानगर सहित कई स्थानों से गेहूं लेकर आए ट्रक गोदाम के बाहर खड़े थे लेकिन इन ट्रकों को सीधे राशन की दुकानों के लिए रवाना करने की बजाय एफसीआई अधिकारियों ने इनका माल तुलवाकर पहले अंदर लिया गया। दोपहर तक स्वयं के ट्रक अंदर लेते रहे। इसके बाद उन्होंने राशन की दुकानों के लिए गेहूं तौलकर भेजना शुरू किया।
ड्राईवर सहित ट्रक का तोल
एफसीआई गोदाम में कई बार ड्राईवर सहित ट्रक को धर्मकांटा पर तोल दिया जाता है, जिससे 70 से 80 किलो गेहूं का घाटा हो जाता है। ट्रक ड्राइवर्स का कहना है कि एफसीआइ ने बाहर डिस्पले बोर्ड नहीं लगा रखा है। वे ट्रक से नीचे उतरकर जाते हैं तो तब तक कम्प्यूटर में ओके का बटन दबा दिया जाता है।
गेहूं व चना वितरण की तिथि 3 दिन बढ़ी

राशन की दुकान पर लॉक डाउन के दौरान आए प्रवासियों और नौकरी गंवाने वालों को 2 महीने का 10 किलो गेहूं व 2 किलो चना मुफ्त दिया जा रहा है। पहले इसके वितरण की तिथि 12 से 14 थी, जिसे बढ़ाकर अब 17 जून कर दिया है।
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‘दिनभर बहस के बाद एफसीआइ ने दोपहर 2 बजे से गेहूं देना शुरू किया। 35 ट्रक खाली ही रहे।’

– राजेश पंवार, प्रबंधक, राजस्थान राज्य खाद्य आपूर्ति निगम जोधपुर

‘हमारी खरीद के ट्रक पांच दिन से बाहर खड़े थे इसलिए पहले उन्हें लिया गया। सोमवार को शेष बचे 8 हजार बोरे भी दे देंगे।’
– जयसिंह, प्रबंधक, भारतीय खाद्य निगम, भगत की कोठी
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