एक साथ दो पोतों के एकाएक चले जाने से 75 वर्षीय दादा व 70 वर्षीय दादी का रो-रोकर बुरा हाल हो गया। शनिवार सुबह 10 बजे दोनों के अवशेष गठरी में बांध कर गांव लाए गए। बताया जाता है कि 20 वर्षीय जगदीश वहां पहले से काम कर रहा था, वहीं 18 वर्षीय प्रवीण पहली बार अपने पिता के साथ गया था। इनके साथ पांचोड़ी निवासी करनाराम भी कार्य कर रहे थे। राणाराम उनको भोलावण देकर नजदीकी रिश्तेदार के यहां चले गए। अंतिम संस्कार में प्रधान बस्तीराम, सरपंच बाबूसिंह सहित सैकड़ों ग्रामीण शामिल रहे।
उल्लेखनीय है सूरत जिले के पलसाणा चार रास्ता के पास ब्लॉक नंबर 494 प्लॉट नंबर 1/2/3 पर सौम्य प्रोसेसिंग प्राइवेट लिमिटेड नाम की मिल है। मिल में गुरुवार तड़के 3.30 बजे अचानक आग लग गई। मिल में मौजूद केमिकल, यार्न और ग्रे कपड़े का बड़ा जत्था चपेट में आने से देखते ही देखते आग ने विकराल रूप धारण कर लिया।
आग इतनी विकराल हो गई थी कि 3 किमी तक लपटें दिखाई दे रही थी। इससे आसपास डर का माहौल और अफरा-तफरी मच गई। घटना की जानकारी मिलते ही पलसाणा, बारडोली और सूरत की दमकल टीम मौके पर पहुंच गई। कुल 15 गाडिय़ों के जरिए आग पर काबू पाने का प्रयास किया गया। करीब 11 घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया गया। इसके बाद कुलिंग प्रक्रिया शुरू की गई।
फर्नीचर का काम करने गए थे तीनों मिल में बने ऑफिस में फर्नीचर का काम करने वाले तीन युवकों की लापता होने की जानकारी मिलने पर दमकल जवानों ने खोजबीन शुरू की तो तीनों के जले हुए शव ऑफिस से बरामद हुए। मृतकों का नाम जगदीश राणाराम सुथार (20), प्रवीण राणाराम सुथार (17) और प्रवीण (कर्णाराम) उम्मेदराम सुथार (25) था। तीनों मूलत: राजस्थान के जोधपुर जिले के बापिनी निवासी थे और मिल के ऑफिस में फर्नीचर का काम कर रहे थे। बुधवार रात काम खत्म करने के बाद तीनों वहीं पर सो गए और तड़के लगी आग की चपेट में जिंदा जल गए थे।