लेकिन, अस्पताल प्रबंधन द्वारा इस तरह के कोई जानकारी नहीं दिए जाने की बात परिवार वाले कह रहे हैं। एक तरफ शासन प्रशासन की ओर से स्वास्थ्य विभाग के माध्यम से विकलांग दूर करने की कई तरह के कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। नवजात के परिवार वालों द्वारा पोलियो ग्रस्त होने की आशंका जताई जा रही है। जानकारी के अनुसार अब तक स्वास्थ्य विभाग अमले ने इस बच्चे की जानकारी नहीं ली है। इसकी जानकारी गांव में तब हुई जब यह परिवार बच्चे को लेकर अपने गांव 5 अप्रैल को पहुंचा।
इसके बाद गांव के सरपंच दिलदार ठाकुर और सरपंच लीलाराम सिन्हा, पूर्व उपसरपंच धर्म निषाद आदि ग्रामवासी उनके घर पहुंचे और इस मामले की पूरी जानकारी ली। उनके द्वारा इस परिवार को चावल, दाल और अन्य खाद्य सामग्री के साथ ही 2 हजार की सहायता राशि भी दी। बता दें कि ग्राम टाहकापारा निवासी मुरली यादव गांव के पशुओं को चराने का काम करता है।
उसके साथ उसका भाई वह परिवार भी है। उसकी पत्नी रीना यादव को प्रसव कराने धमतरी के जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया था ,जहां पर उनके द्वारा पहले बच्चे को जन्म दिया गया। उनका परिवार में बेहद गरीब है सरपंच ग्राम वासियों ने मीडिया को इसकी जानकारी देते हुए शासन प्रशासन की ओर से इस परिवार को मदद दिलाने की मांग की है।