दरअसल मामला तो बहुत बड़ा नही है लेकिन बहुत गंभीर है, जो अधिकारियों की निर्दयी भावना से जरूर जुड़ा है। क्योंकि जहां प्रदेश सरकार लगातार गरीबो के हित तमाम काम कर रही है। वही अधिकारी है कि सरकार की उम्मीदों पर पानी फेरते नजर आ रहे है। क्योकि जब एक विकलांग लगातार ट्राई साइकिल के लिए जिला के मुख्यालय पर सीडीओ ऑफिस के चक्कर लगाता रहा और अधिकारी सिर्फ चक्कर ही लगवाते रहे हैं तो अन्य लोगो का कैसे हित होता होगा।
बताया गया कि कई दिनों से चक्कर काटते हुए थक हारकर विकलांग सीडीओ आफिस के बाहर घंटो सड़क पर लेटा रहा लेकिन किसी ने उस मजबूर औऱ लाचार की मदद नही की। हद तो तब हो गयी जब बगल में बैठे यूपी पुलिस के जवान मस्त होकर ये नजारा देखते रहे लेकिन एक बार भी उसकी मदद के लिए आगे नही आये और काफी समय बाद पुलिस के जवान उसका दर्द सुनने पहुंचे। जबकि मजबूर विकलांग वृद्ध घंटो सड़क पर लेता अपनी पीड़ा को चिल्ला-चिल्ला कर थक कर वापस चला गया। मुख्यालय के अंदर का यह दृश्य देख लोगो की रूह कांप गई। वह चिल्लाता रहा कि मुझे एक साइकिल दे दो बहुत बार आ चुका हूँ साहब अब नही चला जाता है। लेकिन उसकी फरियाद सुनने वाला कोई नही था।