बनाया प्रभारी
गोविंदनगर विधानसभा सीट पर भाजपा के सत्यदेव पचौरी 2017 में विधायक चुने गए थे। योगी सरकार में इन्हें कैबिनेटमंत्री बनाया गया। लोकसभा चुनाव की घोषणा के बाद पार्टी हाईकमान ने पचौरी को कानपुर नगर सीट से उम्मीदवार घोषित कर चुनावी अखाड़े में उतार दिया। पूर्वमंत्री ने 15 साल पहले मिली हार का बदला लेते हुए कांग्रेस के दिग्गज नेता श्रीप्रकाश जायसवाल का करारी शिकस्त देकर सांसद चुने गए। अब इस सीट के लिए उपचुनाव होना है। अपनी परम्परागत सीट बरकरार रखने के लिए पार्टी हाईकमान ने यहां का प्रभार प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को दिया है।
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दावेदार सक्रिय
गोविंदनगर सीट के लिए भाजपा की तरफ से कई दावेदार टिकट पाने के लिए सक्रिय हो गए हैं। हलांकि पार्टी की तरफ से अभी कोई अधिकृत उम्मीदवार के नाम का ऐलान नहीं किया गया। लेकिन कई प्रमुख चेहरा इस सीट से टिकट पाने की रेस में हैं। संगठन के पदाधिकारियों से लेकर पूर्व जनप्रतिनिधि भी चुनाव में उतरने की ताल ठोंक रहे हैं। सूत्रों की मानें तो इस रेस में बसपा से भाजपा में आए निर्मल तिवारी, अनूप पचौरी, सुरेंद्र मैथानी, पूर्व विधायक नीरज चतुर्वेदी, पूर्व महापौर रविंद्र पाटनी सहित आधा दर्जन नेता हैं। बता दें कि निर्मल तिवारी गोविंद नगर सीट से ही बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ा था जिसमें बीजेपी कैंडिडेट सत्यदेव पचौरी के हाथों उन्हें हार का
उपमुख्यमंत्री ने किया था मंथन
दो दिन पहले कानपुर आए उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने भाजपा पदाधिकारियों के बैठक कर चुनावी मंथन किया था। पार्टी के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने बताया कि पार्टी में इस समय माहौल बहुत अच्छा है। कानपुर-बुंदेलखंड क्षेत्र की सभी 10 सीटों पर भाजपा ने अपना परचम लहराया। इससे पहले विधानसभा चुनाव में भी पार्टी का प्रदर्शन शानदार रहा था, इसलिए इस उपचुनाव सीट पर पार्टी चाहेगी कि यहां भी कमल खिले। भाजपा उत्तर जिलाध्यक्ष सुरेंद्र मैथानी ने कहा कि जिसे पार्टी टिकट देगी उसे चुनाव जीताकर विधानसभा भेजा जाएगा। हमारा यहां जुगाड़ से टिकट नहीं मिलता।
दूसरी बार होगा बाई-इलेक्शन
गोविंद नगर विधानसभा सीट पर दूसरी बार बाई-इलेक्शन होगा। पहली बार इस सीट पर उपचुनाव 2 बार कांग्रेस से विधायक रहे विलायतीराम कात्याल की हत्या हो जाने कारण हुआ था। कत्याल की 1988 में आतंकवादियों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। उपचुनाव में भाजपा से बालचंद्र मिश्रा पहली बार विधायक बने थे। 2017 विधानसभा चुनाव में भाजपा सत्यदेव पचौरी 1,12,029, कांग्रेस अंबुज शुक्ला 40,520, बीएसपी निर्मल तिवारी 28,795 वोट मिले थे।
भाजपा के लिए लकी है गोविंदनगर सीट
गेविंदनगर सीट भाजपा के लिए लकी मानी जाती है। 2014 लोकसभा चुनाव में भाजपा के डॉक्टर मुरली मनोहर जोशी को साउथ की इसी सीट के अलावा किदवई नगर से इकतरफा बढ़त मिली थी और श्रीप्रकाश जायसवाल को हार उठानी पड़ी थी। शहर की पांच में से कैंट सीट कांग्रेस के पास है, जबकि आर्यनगर और सीसामऊ से सपा को जीत मिली थी। वहीं गोविंदनगर व किदवईनगर सीट में कमल खिला था। मेयर के चुनाव में भी इन्हीं दो सीटों ने प्रमिला पांडेय को जीत दिलाई थी। 2019 में कांग्रेस के श्रीप्रकाश कई बूथों में खाता तक नहीं खोल पाए।