अनुशासन समिति की बैठक के बाद कुलपति ने कार्रवाई पर अपनी सहमति दे दी। विवि के अधिकारियों के मुताबिक 20 अगस्त की घटना काफी दुर्भाग्यपूर्ण है। जिसके तहत चार छात्रों को दंडित किया गया है। इन छात्रों का रिकॉर्ड देखा गया है उस आधार पर कार्रवाई की गई है। यह छात्र कई बार मारपीट में आरोपित पाए गए हैं। विश्वविद्यालय से निष्कासित दो छात्रों में शैलेन्द्र पाल सिंह और दिनेश सिंह शामिल हैं। इन छात्रों को वर्ष 2019-20 में पठन-पाठन पर पूरी तरह रोक लगाई गई है। दो अन्य छात्रों अभिषेक कुमार एवं विकास कुमार को हास्टल से निष्कासित किया गया है। छात्रों से कहा गया है कि अगर वह हास्टल में दिखे तो उन्हें पूरे शैक्षिक सत्र से निष्कासित कर दिया जाएगा।
सीएसए प्रशासन ने साफ कहा है कि जो छात्र इन आरोपितों को हास्टल में शरण देंगे उन छात्रों पर भी कार्रवाई करने की बात कही गई है। दोनों छात्र डिग्री मिलने तक चरित्र परवीक्षा में रहेंगे यानी उन पर नजर रहेगी। डीन छात्र कल्याण डॉ. हरेश प्रताप सिंह का कहना है कि छात्रों पर लगे आरोप गम्भीर हैं जांच निष्पक्ष तरीके से की गई है। कुलपति ने जांच पर अपनी मुहर लगा दी है। उधर, पुलिस ने भी इन छात्रों के चरित्र को लेकर विवि प्रशासन को रिपोर्ट दी है। इस बीच विभिन्न छात्रावासों में रह रहे 30 ऐसे अन्य छात्रों पर नजर रखी जा रही है जो मारपीट में शामिल पाए जा रहे हैं।