इस घटना के बाद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए एनकाउंटर में विकास दुबे सहित और उसके पांच साथियों को ढेर कर दिया था। मामले की विवेचना पुलिस के सामने बड़ी चुनौती थी। कई बार विवेचना बदली और बाद में अधिकारियों ने मामले में 4 इंस्पेक्टरों को लगाया। जिसके बाद बिकरू कांड की विवेचना अब पूरी हो चुकी है।
बनाए गए 42 आरोपी एसपी ग्रामीण बृजेश कुमार श्रीवास्तव के मुताबिक चार्जशीट में 42 लोगों को आरोपी बनाया गया है। कुछ दिनों में चार्जशीट को कोर्ट में दाखिल किया जाएगा। वहीं पुलिस विकास दुबे के गैंग डी-124 में उसके साथियों के नामों को बढ़ाएगी। यह गैंग तत्कालीन एसएसपी अखिलेश कुमार मीणा ने पंजीकृत कराया था। इसमें बिकरू कांड के उन आरोपियों को भी शामिल किया गया है, जिनके नाम पहले से गैंग में शामिल नहीं थे। एसपी ग्रामीण बृजेश कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि चार्जशीट अभी प्रक्रिया में है। कोर्ट में दाखिल करने से पहले उसकी समीक्षा होगी. चार्जशीट के रिव्यू में वरिष्ठ अधिवक्ताओं की मदद ली जाएगी।
इनकी हुई गिरफ्तारी इस केस में अब तक श्यामू वाजपेई, छोटू शुक्ला, शशिकांत, जहान यादव, दयाशंकर अग्निहोत्री, राहुल पाल, क्षमा पत्नी संजय उर्फ संजू दुबे, खुशी पत्नी अमर दुबे, रेखा अग्निहोत्री पत्नी दयाशंकर, संजय दुबे, सुरेश वर्मा, शांति देवी पत्नी रमेश चंद्र, विनय तिवारी, कृष्ण कुमार, गुड्डन उर्फ अरविंद त्रिवेदी, सुशील कुमार तिवारी, शिवम उर्फ दलाल दुबे, जयकांत बाजपेयी, प्रशांत कुमार उर्फ डब्बू, बालगोविंद दुबे समेत लगभग 50 लोग जेल भेजे जा चुके हैं। गिरफ्तार कर जेल भेजे गए आरोपितों के पास से पुलिस ने अब तक डेढ़ दर्जन से ज्यादा असलहा बरामद किये हैं। पुलिस लिखा पढ़ी में सेल्फ लोडेड सेमीऑटोमेटिक राइफल आ तो गई। मगर इसे पुलिस अब तक बरामद नहीं करा पाई है।