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ट्रक चालक को पुलिस ने बना दिया टाईगर, बदमाश नहीं बल्कि बेगुनाह हूं सरकार

locationकानपुरPublished: Jul 17, 2018 06:08:54 pm

Submitted by:

Vinod Nigam

पुलिस ने निर्दोष को अपराधी बना भेज दिया जेल, 13 साल के बाद कोर्ट ने माना निर्दोष

police sent innocent man to jail in Abduction case in kanpur news

ट्रक चालक को पुलिस ने बना दिया टाईगर, बदमाश नहीं बल्कि बेगुनाह हूं सरकार

कानपुर। मैं ट्रैक लेकर अपने घर से आगरा के लिए निकला, तभी पुलिस ने मुझे रोका। खाकीधारियों ने जबरन मुझे घसीट कर नीचे उतारा और पीटते-पीटते अपने वाहन में बैठा थाने ले गए। रास्ते भर मैं उनसे अपना कसूर पूछता रहा पर वो कुछ सुनने को तैयार नहीं थे, बोलने पर डंडो से प्रहार करते। थाने पहुंचते ही मेरा नाम पूछा तो मैंने जीतेंद्र कुमार नाम बताया। पर उन्होंने ने मेरा नया जीतेंद्र उर्फ बब्लू टाईगर बता कई धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जेल भेज दिया। पूरे 13 साल आपके कोर्ट में चक्कर लगता रहा, मुझ गरीब के साथ इंसाफ करिए हुजूर। यह बात सोमवार को कानपुर कोर्ट में एक बेगुनाह ने जज के सामने अपनी कहनी बयां की। जज ने जिरह और सबूतों के अभाव में जितेंद्र को बरी कर दिया और जिस थानेदार ने उसे फंसाया, उस पर एफआईआर दर्ज कर कोर्ट में पेश करने के आदेश पुलिस को दिए।
क्या है पूरा मामला
जीतेंद्र कुमार निवासी औरंगपुर सामी निवासी थाना बिल्हौर पेशे से ट्रक चालक हैं। जीतेंद्र ने बताया कि 23 अप्रेल 2005 को मैं टाटमिल चौराहे से ट्रक लेकर आगरा के लिए निकला। तभी आगरा जिले के पिंढ़ौरा थाने की पुलिस बीच सड़क पर अपनी कार खड़ी कर मुझे रूकने का इशारा किया। मैंने ट्रक खड़ा कर दिया। इसी दौरान डेढ़ दर्जन पुलिसवाले आ धमके और मुझे जबरन ट्रक से नीचे उतार लिया। पहले सबने मिलकर मुझे पीटा फिर वाहन में बैठाकर थाने लगे गए। पुलिस ने मुझे गैंगस्टर जींतेद्र उर्फ बब्लू टाईगर का नाम देकर कई मुदकमे दर्ज कर जेल भेज दिए। पत्नी और बड़ी बेटी ने मुझे जेल से बाहर लाने के लिए आगरा, लखनऊ और कानपुर चक्कर लगाते-लगाते थक गई। उसकी पढ़ाई छूट गई पर मैं जेल से बाहर नहीं आ पाया और इसी दौरान बेटी डिप्रेशन का शिकार हो गई और वो यह दुनिया छोड़ कर चली गई।
कौन है बब्बू टाईगर
आगरा जिले के पिढ़ौरा थानाक्षेत्र के ग्राम राटोटी निवासी मायाराम के बेटे हरिओम का 12 फरवरी 2002 में अपहर हुआ था। बदमाशों ने हरिओम के रिहाई के बदले साढ़े ग्यारह लाख रूपए की फिरौती मांगी। पुलिस ने इस अपहरण कांड में कानपुर देहात के निवासी जितेंद्र कुमार उर्फ बब्लू टाईगर पुत्र शिवकुमार के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर उसके चुगंल से हरिओम को छुड़ाने के लिए ऑपरेशन शुरू किया। तभी नाटकीय ढंग से हरिओम बदमाशों के चंगुल से छूट कर घर आ गया। पुलिस ने आरोपियों को दबोचने के लिए अभियान चलाया और बब्लू टाइगर गिरोह से मुठभेड़ भी हुई, लेकिन वो हाथ नहीं लगा। पुलिस ने उसके खिलाफ कई मुकदमे दर्ज कर घर की कुर्की पर ली। पुलिस बब्लू टाइगर की तलाश कर रही थी, तभी बेगुनाह जितेंद्र पुलिस के हाथ लग गया और उसे क्रिमिनल बना जेल भेज दिया गया। जबकि असली टाईगर पिछले पंद्रह सालों से पुलिस के हत्थे नहीं लगा।
इस थानेदार ने बना दिया टाइगर
आगरा के तत्कालीन एसएसपी ने गैंगस्टर बब्लू टाईगर पर इमान घोषित कर थानेदार आशुतोष कुमार को इसे पकड़ने की जिम्मेदारी दी। पुलिस बब्लू टाइगर को अरस्ट करने के लिए उसके परिजनों को उठाया और कुर्की की कार्रवाई की, लेकिन आरोपी हाथ नहीं लगा। इसी दौरान थानेदार ने एसएसपी से इनाम पाने के चलते एक बेगुनाह ट्रक चालक जितेंद्र को पकड़ लिया और जबरन नया नाम बब्लू टाईगर दे दिया। जितेंद्र ने बताया कि मैंने तत्कालीन इंस्पेक्टर से कहा भी अपने चार बच्चों की कसमें खाई पर वो नहीं मानें। उन्होंने इनाम की लालच में मुझे अपराधी बना दिया। उन्होंने विवेचना की और कोर्ट में मेरे खिलाफ झूठे सपूत पेश किए। लेकिन कोर्ट ने पुलिस के सरे सबूतों को गलत बताया और मुझे निर्दोष मानते हुए बरी कर दिया। कोर्ट ने यूपी के डीजीपी व गृह सचिव को नोटिस देकर विवेचक के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर एक सप्ताह के अंदर कोर्ट में पेश होने के आदेश दिए हैं।
पत्नी बेटी के चलते आ पाया बाहर
जीतेंद्र ने बताया कि पुलिस के जेल भेजने के बाद पत्नी ने संघर्ष शुरू किया। जेल से बाहर लाने के लिए पत्नी ने जेवर घर बेच डाला और वकीलों को पैसे देकर मेरी जमानत की व्यवस्था कराई। पूरे दस माह के बाद मैं जेल से बाहर आया। पर पुलिस फिर भी मेरे पीछे पड़ी रही। वह अक्सर घर आती और मुझे पर मुकदमे दर्ज करने का दबाव बनाती। जिसकी शिकायत सीएम मुलायम सिंह से पत्नी ने जाकर कही। तब पुलिस से कुछ हद तक छुटकारा मिला। इसके बाद तरीख पे तारीख का दौर चला और कब तेरस साल गूजर गए मुझे पता ही नहीं चला। जवान जितेदं्र कुमार बूढ़ा हो गया। पुलिस की गलती के चलमे मेरा बागवां बिखर गया। बेटी की मौत हो गई तो दो बेटे की पढ़ाई छूट गई। पर अभी मेरी लड़ाई खत्म नहीं बल्कि जारी रहेगी। मैं उन सभी पुलिसवालों को जेल भिजवा कर दम लूंगा, जिन्होंने मेरी जिंदगी तबाह की है।

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