विश्वासपात्र नेता नहीं मायावती
प्रसपा प्रदेश अध्यक्ष सुंदरलाल लोधी ने कहा कि हमारी पार्टी शिवपाल यादव के नेतृत्व में आगे बढ़ रही है। प्रसपा ही असली समाजवादी विचारधारा वाला दल है। जबकि अखिलेश यादव की समाजवादी पार्टी अब पूरी तरह आधुनिक हैं और इसमें बैठने वाले नेताओं का दूर-दूर तक समाजवाद से नाता नहीं हैं। कहा, प्रसपा यूपी की 79 सीटों पर चुनाव लड़ने जा रही है। हां अगर कांग्रेस के साथ पार्टी का गठबंधन होता है तो उनके लिए सीटें छोड़ी जाएंगी। सपा-बसपा का यूपी में जनाधार नहीं है। 2014 में बसपा शून्य थी तो सपा का भी हाल खराब था। अब तो सपा में शिवपाल यादव और मुलायम सिंह भी नहीं हैं। ऐसे में कहा जा सकता है कि ये गठबंधन पांच सीट भी नहीं जीत सकता।
भाजपा के साथ जा सकती मायावती
प्रसपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि मुलायम सिंह ने मायावती के साथ गठबंधन किया। उन्हें सियासत की बारीकियां सिखाईं। पर मायावती ने नेता जी के साथ धोखा किया। समर्थन वापस लेकर सरकार गिरवा दी। ऐसे में अखिलेश यादव बसपा प्रमुख से सचेत रहें। प्रदेश अध्यक्ष ने सपा प्रमुख पर तंज कसते हुए कहा कि उन्होंने उस पार्टी से गठबंधन किया जो नेताजी (मुलायम सिंह यादव) को गुंडा बताती थी। कहा, कि उत्तर प्रदेश में पिछड़ो, दलितों और मुसलमानों का वोट लेकर मायावती ने बार-बार में भाजपा के साथ मिलकर सरकार बनायी है। कहीं ऐसा न हो कि इतिहास फिर से स्वयं को दोहराए और मायावती चुनाव के बाद भाजपा से जा मिलें।
अखिलेश से की ये मांग
प्रसपा नेता ने अखिलेश से मांग की, वो मायावती से गेस्टहाउस कांड पर हलफनामा लेकर कोर्ट में लगवाएं। जिससे कि नेता जी को कोर्ट-कचहरी से राहत मिल सके। वहीं प्रसपा प्रदेश अध्यक्ष ने भाजपा पर हमला बोलते हुए मोदी सरकार ने नोटबंदी व जीएसटी से व्यापारियों की कमर तोड़ दी है। वहीं इस सरकार में किसानों को उनकी फसल का उचित मूल्य भी नहीं दिया जा रहा है। सरकार ने खाद के दाम करने का सिर्फ लॉलीपॉप थमाया है। उन्होंने कहा कि 2014 में जिस नारे को लेकर भाजपा ने सरकार बनाई और जनता ने उन्हें वोट दिया लेकिन आज वह जनता को भी ठग रहे हैं। भाजपा ने एक भी वादा पूरा नहीं किया।