इस मौके पर सदस्य एसपी सिंह ने उपस्थित अधिकारियों से बच्चों के मामले में सजग रहकर उनकी इच्छा, सुरक्षा व विकास के क्षेत्र में बढ़-चढ़ की हिस्सा लेने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि अपने बच्चों के लिए तो सभी ध्यान देते हैं, लेकिन जिनका कोई नहीं होता, उनके हित के लिए कार्य करेंगे तो देश के सभी बच्चों का भविष्य सुरक्षित होगा। उन्होंने जिला एवं खंड स्तरीय बाल संरक्षण समितियों की बैठकें नियमित करने, ग्रामीण क्षेत्र में कुपोषित बच्चों का चयन करने वाली एजेन्सियों को सक्रिय करने, ब्लॉक स्तरीय एवं ग्राम पंचायत स्तरीय बाल संरक्षण समितियों की बैठकें आयोजित करने के निर्देश दिए।
इस अवसर पर अतिरिक्त जिला कलक्टर सुरेश कुमार, एसीईओ नवरत्न कोली, महिला एवं बाल विकास विभाग के उप निदेशक राम निवास यादव, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के सहायक निदेशक महेन्द्र मीणा, श्रम कल्याण अधिकारी शिवदयाल सोलंकी, बाल कल्याण समिति के सदस्य जयेन्द्र सिंह सहित शिक्षा, पुलिस के अधिकारी उपस्थित थे।
थाने का निरीक्षण, भौगोलिक स्थिति की जानकारी ली
मण्डरायल. नवनियुक्त पुलिस उपाधीक्षक बाबूलाल मीना ने थाने का औचक निरीक्षण कर थानाधिकारी को आवश्यक निर्देश दिए। चम्बल नदी राजघाट पहुंचकर दोनों प्रान्तों की सीमा का जायजा लिया। पहली बार आए उपअधीक्षक ने रिकार्ड देखा। थानाधिकारी रामदेवसिंह को पेंडेंसी का समय पर निस्तारण करने के निर्देश दिए। इसके बाद चम्बल नदी राजघाट पहुंचे और मध्यप्रदेश व राजस्थान की सीमा का अवलोकन किया। थानाधिकारी से भौगोलिक स्थिति की जानकारी ली।
मण्डरायल. नवनियुक्त पुलिस उपाधीक्षक बाबूलाल मीना ने थाने का औचक निरीक्षण कर थानाधिकारी को आवश्यक निर्देश दिए। चम्बल नदी राजघाट पहुंचकर दोनों प्रान्तों की सीमा का जायजा लिया। पहली बार आए उपअधीक्षक ने रिकार्ड देखा। थानाधिकारी रामदेवसिंह को पेंडेंसी का समय पर निस्तारण करने के निर्देश दिए। इसके बाद चम्बल नदी राजघाट पहुंचे और मध्यप्रदेश व राजस्थान की सीमा का अवलोकन किया। थानाधिकारी से भौगोलिक स्थिति की जानकारी ली।