बाजार में सब्जियों की छाई बहार, महंगाई का दिख रहा असर
करौलीPublished: Nov 02, 2023 12:11:06 pm
करौली. सर्दी की शुरुआत के साथ ही मंडी में सब्जियों की बहार आ गई है। नई सब्जियों पर महंगाई का असर दिख रहा है। जिससे लोग मोल भाव अधिक कर रहे हैं। सर्दी का मौसम हरी सब्जियों के लिए जाना जाता है। सर्दी में हरी सब्जियों जैसे पालक, मैथी, बथुआ आदि की अच्छी आवक होती है। सब्जियां मंडी में आना शुरू हो गई है, लेकिन अभी महंगी है। हालांकि सर्दी तेज होने के साथ ही धीरे-धीरे इनके दामों में कमी आएगी। अधिकतर सब्जियों के भाव 40 से 50 रुपए किलो तक है। कुछ के भाव इससे कहीं अधिक है। मटर के दाम सर्वाधिक, अदरक के भी क


बाजार में सब्जियों की छाई बहार, महंगाई का दिख रहा असर
बाजार में सब्जियों की छाई बहार, महंगाई का दिख रहा असर करौली. सर्दी की शुरुआत के साथ ही मंडी में सब्जियों की बहार आ गई है। नई सब्जियों पर महंगाई का असर दिख रहा है। जिससे लोग मोल भाव अधिक कर रहे हैं। सर्दी का मौसम हरी सब्जियों के लिए जाना जाता है। सर्दी में हरी सब्जियों जैसे पालक, मैथी, बथुआ आदि की अच्छी आवक होती है। सब्जियां मंडी में आना शुरू हो गई है, लेकिन अभी महंगी है। हालांकि सर्दी तेज होने के साथ ही धीरे-धीरे इनके दामों में कमी आएगी। अधिकतर सब्जियों के भाव 40 से 50 रुपए किलो तक है। कुछ के भाव इससे कहीं अधिक है। मटर के दाम सर्वाधिक, अदरक के भी कम नहीं : सब्जियों में सर्वाधिक महंगा मटर बिक रहा है। सब्जी विक्रेता सुमेरङ्क्षसह ने बताया कि मटर की अभी शुरुआत हुई है। ऐसे में इसके दाम 200 रुपए किलो तक चल रहे हैं। हालांकि धीरे-धीरे दामों में कमी आएगी। मटर का उपयोग सब्जियों के अलावा अन्य कार्यों में भी होता है। वहीं अदरक के दाम लंबे समय से अधिक ही चल रहे हैं। अदरक के दामों में ताव अधिक है। मंडी में अदरक के दाम 150 रुपए किलो तक चल रहे हैं। ऐसे में सर्दी ेमें अदरक की चाय के शौकीनों को भी जेब अधिक ढीली करनी पड़ रही है। एक माह में दुगना महंगा हुआ प्याज : कुछ माह पहले टमाटर के दामों में जोरदार तेजी आई थी, लेकिन अब धीरे-धीरे प्याज के दाम बढऩे लगे हैं। ऐसे में रसोई में सब्जियों में प्याज का तड़का भी महंगा पड़ रहा है। जानकार बताते हैं कि प्याज के दाम अभी और बढऩे की संभावना है। दीपावली के बाद सावों का सीजन शुरू होगा। उस समय प्याज की डिमांड बढ़ेगी। एक माह पहले प्याज के दाम 30 रुपए किलो तक थे, लेकिन अब यह 60 रुपए तक पहुंच चुके हैं। आगे भी दाम और बढऩे की संभावना है। वहीं कोल्ड स्टोर में रखे प्याज भी कई जगह खराब होने से सप्लाई कम आ रही है। वहीं नई फसल का प्याज अभी कम आ रहा है। अधिकतर प्याज बाहरी क्षेत्रों से आता है। जिसमें परिवहन लागत भी अधिक हो गई है। ऐसे में महंगाई का असर दिख रहा है। उत्पादन पर बढ़ी लागत विक्रेताओं के अनुसार सब्जियों के उत्पादन पर भी अब पहले के मुकाबले लागत बढ़ गई है। सब्जियों की पैदावार महंगी हो गई है। कीटनाशक, खाद, मजदूरों से तुड़ाई, खेतों से शहरों के बाजारों में ले जाने के लिए परिवहन खर्च आदि में लागत बढऩे से सब्जियों के दामों में इजाफा हुआ है। वहीं मौसम विपरीत हो जाए तो किसानों को नुकसान भी उठाना पड़ जाता है। उस समय लागत भी नहीं निकल पाती है। यह है दाम मंडी में हरी सब्जियों की आवक शुरू हो गई है। जिसमें पालक के दाम प्रतिकिलो 40, मैथी 60, गोभी 40, मूली 20, प्याज 60, टमाटर 40, गाजर 60 रुपए किलो चल रही है। इसी प्रकार बैगन 20 रुपए किलो, ङ्क्षटडा 80 व मटर 200 रुपए किलो चल रहा है। सब्जियों की आवक करौली जिले के कुछ इलाकों सहित बाहरी क्षेत्रों से अधिक हो रही है।