मुख्यमंत्री ने बताया कि हरियाणा और दिल्ली के साथ हुए समझौते के तहत 719 क्यूसिक पानी का शेयर दिल्ली को मिला हुआ है। दिल्ली हाईकोर्ट के एक फैसले के बाद हरियाणा द्वारा 1049 क्यूसिक पानी दिल्ली को सप्लाई किया जा रहा है। मनोहर लाल ने कहा कि दिल्ली पानी तो अधिक ले रहा है, लेकिन इसके बदले पैसे नहीं दे रहा। 1995 से लेकर अब तक के मोटे हिसाब से दिल्ली की ओर 120 करोड़ रुपये बनते थे।
सिंचाई विभाग के अधिकारियों के बताने के बाद सीएम ने कहा, हमारे पास केवल इसकी एवज में केवल 20 करोड़ रुपये आए हैं। आज भी दिल्ली की ओर से 100 करोड़ रुपये का बकाया है। सीएम ने बताया कि इस संदर्भ में दिल्ली सरकार के साथ कई बार पत्राचार भी हुआ है लेकिन आज तक पैसे नहीं आए हैं। बकाया राशि लगातार बढ़ रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली को उसके शेयर से अधिक पानी हम अब भी दे रहे हैं। दिल्ली देश की राजधानी है। ऐसे में दूसरे राज्यों को भी दिल्ली की जरूरत के हिसाब से पानी देने में सहयोग करना चाहिए। इसके लिए सभी को मिलकर काम करना होगा। हम जितना दे रहे हैं, उसमें भी हमें कोई परेशानी नहीं है लेकिन पानी लेकर पैसे नहीं देना और ऊपर से आरोप लगाना भी तो सही नहीं है।