इस बार 14 दिन का श्राद्ध पक्ष
हर साल भद्रपद शुक्लपक्ष पूर्णिमा से लेकर अश्विन कृष्णपक्ष अमावस्या तक के काल को पितृ पक्ष या श्राद्ध पक्ष कहा जाता है। वैसे 15 दिन तक श्राद्ध पक्ष होता है, लेकिन इस बार 14 दिन ही पितरों को तर्पण करने के लिए मिलेंगे। मान्यता है कि अगर पितर रूष्ट हो जाते हैं, तो व्यक्ति को तमाम परेशानियों का सामना करना पड़ता है। पितरों की अशांति के कारण धनहानि और संतान पक्ष से भी समस्याओ का सामना करना पड़ता है। इन दिनों पितरों को पिंडदान और जलदान करने से पूवर्जां को आशीर्वाद प्राप्त होता है।
हर साल भद्रपद शुक्लपक्ष पूर्णिमा से लेकर अश्विन कृष्णपक्ष अमावस्या तक के काल को पितृ पक्ष या श्राद्ध पक्ष कहा जाता है। वैसे 15 दिन तक श्राद्ध पक्ष होता है, लेकिन इस बार 14 दिन ही पितरों को तर्पण करने के लिए मिलेंगे। मान्यता है कि अगर पितर रूष्ट हो जाते हैं, तो व्यक्ति को तमाम परेशानियों का सामना करना पड़ता है। पितरों की अशांति के कारण धनहानि और संतान पक्ष से भी समस्याओ का सामना करना पड़ता है। इन दिनों पितरों को पिंडदान और जलदान करने से पूवर्जां को आशीर्वाद प्राप्त होता है।
विधि विधान के साथ किया पिंडदान
कासगंज के सोरों, कछला, कादरगंज गंगाघाटों पर मंगलवार सुबह से ही अपने-अपने पितरों की तृप्ति के लिए श्रद्धालुओं ने गंगा स्नान कर मंत्रोच्चारण के साथ पिंडदान और जलदान किया। सुबह से शाम तक जलदान करने का सिलसिला चलता रहा। श्राद्ध पूर्णिमा पर भारी भीड़ के चलते कछला और सोरों की सड़कों पर जाम की स्थिति बनी रही।
कासगंज के सोरों, कछला, कादरगंज गंगाघाटों पर मंगलवार सुबह से ही अपने-अपने पितरों की तृप्ति के लिए श्रद्धालुओं ने गंगा स्नान कर मंत्रोच्चारण के साथ पिंडदान और जलदान किया। सुबह से शाम तक जलदान करने का सिलसिला चलता रहा। श्राद्ध पूर्णिमा पर भारी भीड़ के चलते कछला और सोरों की सड़कों पर जाम की स्थिति बनी रही।
गंगा में डूबी युवती
वहीं दिल्ली से श्राद्ध पूर्णिमा पर्व के अवसर पितरों को तर्पण करने आई एक युवती स्नान के दौरान गंगा डूब गई। घटना सोरों कोतवाली क्षेत्र के कछला गंगाघाट की है। बताया जा रहा है कि दिल्ली के गांव इमदाबाद थाना बागवाला निवासी सोनवती पुत्री रामगोपाल, जोकि अपने पितरों को तर्पण करने के लिए आई हुई थी। इसी दौरान सोनवती गंगा के तेजधार में फंस गई। जब तक उसके परिजन कुछ समझ पाते, तब तक सोनवती डूब गई। सोनवती को मौजूद गोताखोरों ने काफी गंगा खोजबीन का प्रयास किया, लेकिन उसका कोई अता पता नहीं चल सका है।
वहीं दिल्ली से श्राद्ध पूर्णिमा पर्व के अवसर पितरों को तर्पण करने आई एक युवती स्नान के दौरान गंगा डूब गई। घटना सोरों कोतवाली क्षेत्र के कछला गंगाघाट की है। बताया जा रहा है कि दिल्ली के गांव इमदाबाद थाना बागवाला निवासी सोनवती पुत्री रामगोपाल, जोकि अपने पितरों को तर्पण करने के लिए आई हुई थी। इसी दौरान सोनवती गंगा के तेजधार में फंस गई। जब तक उसके परिजन कुछ समझ पाते, तब तक सोनवती डूब गई। सोनवती को मौजूद गोताखोरों ने काफी गंगा खोजबीन का प्रयास किया, लेकिन उसका कोई अता पता नहीं चल सका है।