कटनी

एंटीबायोटिक का उपयोग शरीर के लिए पैदा कर सकता है खतरा

एंटीबायोटिक औषधियों के प्रति बढ़ता हुआ प्रतिरेध एक गहन चिंता का विषय बन चुका है ।

कटनीNov 24, 2021 / 04:33 pm

Subodh Tripathi

कटनी. कुछ लोग थोड़ा की तकलीफ होने पर खुद ही डॉक्टर बन जाते हैं और बिना किसी चिकित्सक से पूछे मेडिकल स्टोर से दवाईयां खरीदकर लेना शुरू कर देते हैं। आजकल कुछ लोग तो थोड़ा भी कुछ होता है, सीधे एंटीबायोटिक लेने लगते हैं। जबकि एंटीबायोटिक का बेवजह उपयोग शरीर के लिए काफी नुकसानदायक हो सकता है, इसी के चलते जिला अस्पताल में एक कार्यशाला का आयोजन कर लोगों को जागरूक करने का प्रयास किया गया।
एंटीबायोटिक औषधियों की रोकथाम के लिए मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय में एक मीडिया कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस दौरान सिविल सर्जन डॉ यशवंत वर्मा ने आवश्यक जानकारी दी। डॉक्टर वर्मा ने कहा कि संपूर्ण विश्व के साथ भारत देश में एंटीबायोटिक औषधियों के प्रति बढ़ता हुआ प्रतिरेध एक गहन चिंता का विषय बन चुका है । यह स्थिति इसलिए भयावह हो जाती है कि पिछले 10 वर्षों में कोई भी नई एन्टीबायोटक की खोज नहीं हुई है । यह स्थिति चिकित्सकों एवं जन मानस द्वारा एंटी बायोटिक औषध्यों के विवेक रहित अनियंत्रित व अनावश्यक उपयोग के कारण उत्पन्न हुई है। इसके अतिरिक्त पशुओं में भी इन्हीं औषधियों का दुरूपयोग काफी है । कई लोग लक्षण ठीक होने पर दवाओं का उपयोग पूर्ण अवधि के पहले बंद कर देते है । मेडिकल स्टोर से भी लोग औषधि स्वयं क्रय कर अपने आप स्वउपचार के तहत औषधियां सेवन करते है । इसके कारण उपचार निष्प्रभावी हो जाती है , जिसके कारण रोगी का कष्ट बच सकता है । व उसके जीवन के लिए खतरा भी उत्पन्न हो सकता है । चिकित्सालय में रूकने की अवधि बढ़ जाती है व प्रतिष्ठा पर भी संकट होता। इसके लिए आवश्यक है कि सर्जन चिकित्सक की सलाह के बिना एंटी बायोटिक न लें। चिकित्सको ने भी इन औषधियों के विवेकशील उपयोग की सलाह दी जाती है।

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