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सरपंच ने कटवा दिए 31 हितग्राहियों के नाम, जांच के बाद भी न लाभ मिला ना ही दोषियों पर कार्रवाई

locationकटनीPublished: Oct 26, 2021 10:35:58 pm

Submitted by:

balmeek pandey

ग्रामीण पहुंचे कलेक्टर के पास, नहीं हुई सुनवाई, दी आमरण अनशन की चेतावनी

सरपंच ने कटवा दिए 31 हितग्राहियों के नाम, जांच के बाद भी न लाभ मिला ना ही दोषियों पर कार्रवाई

सरपंच ने कटवा दिए 31 हितग्राहियों के नाम, जांच के बाद भी न लाभ मिला ना ही दोषियों पर कार्रवाई

कटनी. सरकार की मंशा है कि हर गरीब व जरुरतमंद को पक्का आशियाना नसीब हो, लेकिन इस योजना में कई जगह पर गंभीर बेपरवाही बरती जा रही है। ऐसा ही एक मामला रीठी जनपद क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पंचायत बिलहरी में सामने आया है। जहां पर ग्रामीणों का आरोप है कि गांव के 31 पात्र हितग्राहियों के नाम ग्राम पंचायत सरपंच गौरीशंकर गोस्वामी द्वारा निजी स्वास्र्थ के चलते कटवा दिए गए हैं। किसी को अपात्र बता दिया गया है है तो किसी को अज्ञात। लगातार ग्रामीणों ने इसकी शिकायत की, अधिकारियों ने जांच की, जांच रिपोर्ट के अनुसार ग्राम पंचायत के सरपंच-सचिव व जीआरएस को दोषी पाया गया, इसके बाद भी पात्रों को न तो अबतक योजना का लाभ मिला और ना ही कार्रवाई हुई।
सोमवार को दो दर्जन से अधिक हितग्राही कलेक्टर प्रियंक मिश्रा के पास पहुंचे, कई घंटे तक इंतजार किया, लेकिन कलेक्टर से मुलाकात नहीं करने दिया गया और कलेक्टर दौरे में चले गए। इससे हताश-निराश होकर ग्रामीणों ने कहा कि जब जिले के मुखिया ही नहीं सुन रहे हैं तो फिर समस्या लेकर किसके पास जाएं। जिला पंचायत सदस्य एके खान और उपसरपंच विनोद शंकर शर्मा के नेतृत्व में गुस्साए ग्रामीणों ने कहा कि तीन दिवस के अंदर यदि सुनवाई नहीं हुई तो आमरण अनशन करेंगे।

इन हितग्राहियों ने बताई समस्या
रामकुमार बर्मन, संजू चौधरी, संतराम चौधरी, बसंतलाल चौधरी, ममता चौधरी, रामरती चौधरी, ममता चौधरी, विद्या चौधरी, चंद्रिका चौधरी, इत्ता बर्मन, राजेंद्र चौधरी, मुराली बर्मन, विनय चौरसिया, राजेश यादव, राजेंद्र दाहिया, ओमकार बर्मन, अशोक चौधरी, सुभाष चौधरी, भीखमलाल कोरी, नरेश चौधरी, वैशाखू चौधरी, परमलाल चौधरी, मोहित चौधरी, विनोद यादव, विजय नामदेव, संजय चौधरी, राजेंद्र आदिवासी, राजू चौधरी, दशरथ यादव आदि ने कहा कि वे सर्वे सूची में पात्र थे, इसके बाद भी अपात्र कर दिया गया है।

जांच में सामने आ चुकी है पंचायत की मनमानी
16 जुलाई 21 को चार सदस्यीय जांच टीम में ब्लॉक समन्वयक जयलाल पांडे, खंड पंचायत अधिकारी मुन्नीलाल कोल, पंचायत समन्वयक एलएन मिश्रा, पंचायत समन्वय अधिकारी अशोक चक्रवर्ती ने जनपद सीइओ रीठी को रिपोर्ट सौंपी थी। इन हितग्राहियों की जांच में पाया था कि 25 हितग्राही पात्र हैं, लेकिन पंचायत ने अपात्र कर दिया है पंचायत ने इसका जवाब भी नहीं दिया। इसी तरह अन्य हितग्राहियों के पास जमी अधिक होने, मोटर साइकिल सहित अन्य आवास का लाभ मिल जाने की बात कह अपात्र बताया, लेकिन जांच दल को साक्ष्य नहीं मुहैया नहीं कराए। 9 बिंदुओं की जांच में पंचायत की भूमिका पूरी तरह संदिग्ध पाई गई, लेकिन कोई सुनवाई अबतक नहीं हुई।


तीन दिन का मिला था समय
ग्रामीणों ने बताया कि इस समस्या को लेकर पूर्व में कलेक्टर प्रियंक मिश्रा के पास पहुंचे थे, उन्होंने तीन दिवस के अंदर समस्या का समाधान कराने कहा था, लेकिन अबतक किसी ने ध्यान नहीं दिया। सरपंच सहित सचिव रंजीता तिवारी, सहायक सचिव रामरतन यादव, एडीइओ पूरनलाल सोनी ने मनमानी की है। ग्रामीणों ने यह भी कहा कि जिन लोगों के पास 67 एकड़ जमीन है उन्हें भी लाभ दिया गया।

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