scriptvideo: अतिक्रमण रोकने गए तहसीलदार से विवाद और शिकायत के 6 दिन बाद भी एफआइआर नहीं | No FIR, even after 6 days of dispute and complaint | Patrika News

video: अतिक्रमण रोकने गए तहसीलदार से विवाद और शिकायत के 6 दिन बाद भी एफआइआर नहीं

locationकटनीPublished: Nov 20, 2019 01:58:31 pm

सवालों में माधवनगर पुलिस की कार्रवाई, नागरिकों ने कहा सरकारी अधिकारी से अभ्रदता और शिकायत पर भी क्यों कार्रवाई नहीं कर रही पुलिस.बीच शहर नजूल जमीन पर करोड़ों की जमीन पर अतिक्रमण से जुड़ा है मामला, अतिक्रमण रोकने गए तहसीलदार से दो युवकों ने किया था विवाद.तहसीलदार ने माधवनगर थाने में सत्यम लोचनानी और अशोक पुरुषवानी के खिलाफ 14 नवंबर को दर्ज कराई थी शिकायत.

Youth disputing the Tehsildar acting on encroachment

अतिक्रमण पर कार्रवाई करते तहसीलदार से विवाद करते युवक

कटनी. बीच शहर करोड़ों रुपये की नजूल जमीन पर खुलेआम अतिक्रमण कर दीवार खड़ी करने मामले में तहसीलदार की शिकायत पर 6 दिन बाद भी माधवनगर पुलिस ने आरोपी युवकों के खिलाफ एफआइआर दर्ज नहीं कर सकी है। बरगवां में मॉडल रोड किनारे जैन मार्बल के समीप अतिक्रमण पर कार्रवाई करने 14 नवंबर की दोपहर तहसीलदार मुनव्वर खान और अन्य स्टॉफ गए थे। तभी सत्यम लोचनानी और अशोक पुरुषवानी और साथियों ने तहसीलदार के साथ अभ्रदता की।
तहसीलदार मुनव्वर खान ने इसकी शिकायत 14 नवंबर को ही माधवनगर थाने में दर्ज कराई थी। उनका आरोप है कि आरोपी युवकों ने शासकीय कार्य में बाधा पंहुचाई है। अतिक्रमण पर कार्रवाई करने से रोकने की कोशिश की।
खासबात यह है कि 14 नवंबर को तहसीलदार द्वारा शिकायत दर्ज करवाने के साथ ही माधवनगर थाने में लोगों की भीड़ एकत्रित हो गई। शिकायत के 6 दिन बाद भी एफआइआर दर्ज होने के बाद माधवनगर पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठ रहे हैं। नागरिकों का कहना है कि बीच शहर में करोड़ों की जमीन पर अतिक्रमण से जुड़े इस मामले में आखिर ठोस कार्रवाई क्यों नहीं हो रही है।
माधवनगर थाने के टीआइ संजय दुबे तहसीलदार की शिकायत पर जांच चलने की बात कहकर इस पूरे मामले पल्ला झाड़ रहे हैं। तहसीलदार मुनव्वर खान बताते हैं कि बरगवां में नजूल जमीन पर अतिक्रमण रोकने के दौरान दो युवकों ने काम में बाधा डाला। उनकी शिकायत माधवनगर थाने में दर्ज करवाई है। शासकीय जमीन पर अतिक्रमण मामले में प्रकरण दर्ज किया गया है। अगर इस मामले में माधवनगर पुलिस कार्रवाई नहीं करती तो उच्चाधिकारियों को शिकायत दर्ज करवाई जाएगी।