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इस शहर में अब नहीं मिलेगी प्रधानमंत्री योजना की सस्ती दवाएं, जानिए क्यों

locationकटनीPublished: Feb 26, 2019 04:40:34 pm

Submitted by:

balmeek pandey

वाजिब दाम पर गुणवत्तापूर्ण जेनेरिक दवाइयां मिलना का सपना रहेगा अधूरा!, जिम्मेदारीें की लेट-लतीफी से से औषधि केंद्र खोलने जाने की योजना पर लगा पलीता

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Prime Minister Indian Public Drug Center will not open in Katni

कटनी. फार्मा एडवाइजरी फोरम ने संयुक्त रूप से हर जिले में आम जनता को वाजिब दाम पर गुणवत्तापूर्ण जेनेरिक दवाइयां उपलब्ध करवाने के लिए औषधि कैंपेन शुरू किया था। यह दवाएं प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र में मिलनी थीं। इस योजना के तहत शहर में भी दुकानें खोली जानी थीं। कई माह का समय बीत जाने के बाद भी एक भी दुकान नहीं खुल पाई। अक्टूबर माह तक जन औषधि केंद्र न खुलने की मुख्य वजह शहर में दुकानों का न मिल पाना बताया जा रहा था, लेकिन अब जन अभियान परिषद द्वारा इस संबंध में कोई पहल ही नहीं की जा रही है। अब इस योजना से लाग वंचित रहेंगे। जानकारी के अनुसार इसके लिए 22 लोगों ने आवेदन किया था। 10 लोगों के आवेदन स्वीकृत हो गए हैं। इनमें से सत्यापन के बाद 8 लोगों को केंद्र खोलने के लिए विभाग द्वारा लायसेंस जारी कर दिए गए हैं। इसमें अर्जुन दास पटेल, नारायण दत्त पटेल, नीलेश विश्वकर्मा, प्रसून अग्रवाल, सनद हल्दकार, शुभांशु विश्वकर्मा, मोहम्मद अलीम और श्रुति नायक के लायसेंस भी विभाग से जारी हो गए हैं। बता दें कि केंद्र जिले के कटनी, बड़वारा, ढीमरखेड़ा, रीठी, बहोरीबंद और ढीमरखेड़ा ब्लॉक में भी खुलने थे। बी फॉर्मा और डी फॉर्मा डिग्री धारियों द्वारा 3100 रुपए फीस जमा करने और ऑनलाइन प्रक्रिया पूरी करने के बाद लायसेंस जारी किए गए। ब्यूरो ऑफ फार्मा पब्लिक सेक्टर अंडरटेकिंग ऑफ इंडिया (बीपीपीआइ) द्वारा लायसेंस धारियों को दुकान खोलने के लिए प्रक्रिया चल रही थी, लेकिन अब ठंडे बस्ते में चली गई है।

इनका कहना है
कटनी शहर में 20 से अधिक लोगों ने जन औषधि केंद्र खोलने के लिए ऑनलाइन आवेदन किया था। इनमें से 8 को लाइसेंस भी मिल चुका है। दुकान न मिल पाने के कारण केंद्र नहीं खुल पाए। अब इस दिशा में कोई पहल नहीं हो रही। अब केंद्र खुल पाना भी मुश्किल है।
आनंद पांडे, प्रभारी, जन अभियान परिषद।

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