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65 करोड़ न मिलने से अटके गरीबों के आशियाने, केंद्र सरकार की बड़ी योजना में गंभीर बेपरवाही

-हितग्राहियों की नहीं जारी हो रही किश्त, कोई कच्चा घर गिराकर तो कोई आधा बनाकर कर रहा किश्त का इंतजार-नगर निगम के प्रधानमंत्री आवास योजना में जमकर हो रही बेपरवाही, हितग्राही परेशान, व्यवस्था पर भी सवाल-केंद्र की योजना पर नगर निगम आयुक्त नहीं गंभीर

कटनीJan 25, 2021 / 07:29 pm

balmeek pandey

PM Awas

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कटनी. ऐसे गरीब जो दो-जून की रोटी के लिए व परिवार का भरण-पोषण में ही पूरी कमाई खर्च हो जा रही है और एक आशियाना नहीं बना पा रहे, ऐसे जरुरतमंदों के लिए केंद्र सरकार महत्वाकांक्षी योजना चला रही है। ग्राम पंचायतों में इस योजना पर तो बेहतर काम हो रहा है, लेकिन शहरी क्षेत्र में यह योजना पूरी तरह से दम तोड़ चुकी है। हजारों की संख्या में हितग्राही राशि न मिल पाने के कारण घर नहीं बना पा रहे। बता दें कि 2017 से अबतक नगर निगम में 6 हजार 554 हितग्राहियों को इस योजना के तहत पात्र पाया गया है। आठ डीपीआर बनाई गई हैं, लेकिन अभी एक भी डीपीआर का पूरी तरह से काम नहीं हुआ। ऐसे में न सिर्फ नगर निगम के नोडल अधिकारी बल्कि आयुक्त की कार्रप्रणाली पर भी लोग सवाल खड़े कर रहे हैं। बता दें कि पहली किश्त 4500, दूसरी किश्त 1680 और तीसरी किश्त सिर्फ 1500 हितग्राहियों को ही मिली है। हैरानी की बात तो यह है कि कई अपात्रों को योजना का लाभ पहुंचाया गया है। 427 से अधिक तो ऐसे हितग्राही हैं जो मिल ही नहीं रहे। वहीं 235 लोग राशि लेने के बाद भी आवास नहीं बना रहे।

65 करोड़ से अधिक की जरुरत
नगर निगम के अधिकारियों का कहना है कि राशि के अभाव में पीएम आवास योजना पर प्रगति नहीं है। लगभग 65 करोड़ रुपये से अधिक की आवश्यता है। राशि मिले तो हितग्राहियों को जारी हो। 2078 वाले डीपीआर में कुछ दिनों पर पहले राशि 44 लाख रुपये जारी हुई है। हैरानी की बात तो यह है कि शुरुआती दौर से इस योजना में नगर निगम के अफसर बेपरवाह बने थे और आज भी परंपरा कायम है। निवर्तमान पार्षद राजकिशोर यादव ने बताया कि बबिता रैदास, सपना निषाद, कमला निषाद सहित सैकड़ों लोगों को राशि न मिलने आशियाने का सपना पूरा नहीं हो रहा। बता दें कि पहली और दूसरी किश्त एक-एक लाख रुपये, तीसरी किश्त 5 हजार रुपये मिलने हैं।


यह है डीपीआर
पहली-612
दूसरी-896
तीसरी-250
चौथी-984
पांचवीं-519
छठवीं-123
सातवीं-2078
आठवीं-1092

इनका कहना है
अब मेरा फोकस प्रधानमंत्री आवास पर ज्यादा है। शीघ्र ही कोशिश की जाएगी की सभी प्रकार की समस्याओं का समाधान करते हुए हितग्राहियों को समय पर राशि जारी हो, ताकि आवासों का निर्माण पूरा हो सके। नोडल अधिकारियों को भी आवश्यक कार्रवाई के लिए निर्देश दिए जाएंगे।
सत्येंद्र धाकरे, नगर निगम आयुक्त।

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