चायल तहसील के नेवादा विकास खंड के रेही गांव के प्राथमिक स्कूल के बाहर की तस्वीर देखकर आपको यकीन नहीं होगा कि इस स्कूल के अंदर की तस्वीर भयावह भी हो सकती है।
चार कमरे के सरकारी प्राथमिक स्कूल के तीन कमरे पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए हैं, एक कमरा ही बैठने लायक बचा है, जिसमें एक से लेकर पांचवीं क्लास के बच्चे एक साथ बैठ कर पढ़ाई करने को मजबूर हैं।
स्कूल के कई कमरे मे दरवाजे व खिड़की तक नहीं है, फर्श पर कभी प्लास्टर हुआ भी है ऐसे निशान दिखाई तो नहीं पड़ते। शौचालय ऐसा कि उपयोग के काबिल नहीं।
खस्ताहाल स्कूल के डरावने कमरों को देख तमाम बच्चों ने यहां पढ़ाई से तौबा करते हुये दूसरी जगह अपने नाम लिखवा लिए। प्राथमिक स्कूल रेही की बदहाली से वहां के शिक्षक भी इत्तफाक रखते है लेकिन उनके अपने हाथ बंधे है|
स्कूल की दीवारों में पड़ी मोटी-मोटी दरारें आपके अंदर खौफ पैदा कर देंगी लेकिन इसी मोटी-मोटी दरार वाले कमरे के अंदर नौनिहाल बैठ कर पढ़ाई करते हैं। दूसरे शब्दों मे कहें तो यहां पढ़ने वाले नौनिहाल खतरों के वह खिलाड़ी है जो जान जोखिम मे डालकर अपना भविष्य संवारने मे जुटे हैं।