scriptमां ने किया बच्चे को लेकर ऐसा दावा कि घर पर जुट रही हजारों की भीड़, जानिये क्या है सच | Six year Child Supernatural power Rumor in Up kaushambi | Patrika News

मां ने किया बच्चे को लेकर ऐसा दावा कि घर पर जुट रही हजारों की भीड़, जानिये क्या है सच

locationकौशाम्बीPublished: Sep 02, 2019 06:10:40 pm

Submitted by:

Akhilesh Tripathi

बच्चे से मिलने व उसे छूने के लिए हजारों की संख्या में लोग उसके घर पहुंच रहे हैं।

Supernatural power Rumor

अलौकिक शक्ति का अफवाह

कौशांबी. भारत आज भले ही चंद्रयान की सफलता का जश्न मना रहा हो, मगर देश के कई हिस्से आज भी अंधविश्वास की चपेट में हैं । आए दिन अंधविश्वास से जुड़ी खबरें सामने आती रहती है । यूपी के कौशांबी के बेरूई गांव में छह साल का मासूम की आजादी छिनकर उसे अंधविश्वास की तरफ झोंक दिया गया है। कहा जाता है कि इस बच्चे के पास एक ऐसी अलौकिक शक्ति है कि जिसके छूने मात्र से आसाध्य रोग पल भर में ठीक हो जाता है। बच्चे से मिलने व उसे छूने के लिए कौशांबी समेत आस-पास के जनपदों के हजारों लोग मेले की शक्ल में उसके घर पहुंच रहे है। पिछले पंद्रह दिनों से जारी इस घटना क्रम में बच्चा न तो स्कूल जा पा रहा है, और न ही भर पेट भोजन कर पा रहा है। लोग निरोगी बनने की चाह में उस बच्चे को सोने तक नहीं दे रहे है। बेरुई गांव मे कई हजार लोगों की भीड़ जुटती है लेकिन स्थानीय पुलिस प्रशासन इससे बेखबर है ।
कौशांबी विकास खंड के बेरुई गांव के खेत मे बने एक छोटे से मकान में लगा मजमा बताता है कि हमारा चंद्रयान मिशन का सपना कितना सच है। हजारो के भीड़ सिर्फ एक बार छह साल के उस मासूम बालक बच्चा गोलू का दीदार करना चाहती है। यह सब चाहते है कि यह अद्भुत बच्चा उन्हें छू ले ताकि उनका रोग ठीक हो जाये। लकवा, कैंसर जैसे तमाम असाध्य रोग से पीड़ित लोग सिर्फ एक टच में ठीक होने की चाह में मीलो पैदल, ऑटो और बाइक से चल कर आ रहे है। बच्चा एक मिनट भी अगर उनके आंख से ओझल हुआ तो लोग विलख उठते है।
 

बच्चे की मां गोमती देवी का कहना है कि उसका बच्चा यमुना नदी में नहाने गया था। जहां उसे एक मछली के रूप में अलौकिक वरदानी शक्तियां मिली है। वह जिसे छू लेता है उसका आसाध्य रोग ठीक हो जाता है। धीरे-धीरे यह बात जंगल मे आग की तरह फैल गई। जिससे उसके घर पर खासा मजमा लगता है। कुछ ऐसा चमत्कारी बच्चा गोलु भी बताता है | पिछले पंद्रह दिनों से जारी इस घटना क्रम की जानकारी जब मीडिया को हुई तो वह भी इसकी हकीकत जानने मौके पर पहुंची। हजारो की संख्या में पहुंची भीड़ यह बता रहीं है कि लोग विज्ञान छोड़ अंधविश्वास में कितना भरोसा रखते है। बच्चे का एक स्पर्श किसी को ठीक कर सके या न कर सके, लेकिन मुफलिसी और बेरोजगारी से जूझ रहे आस-पास के कई ग्रामीणों की नाश्ता आदि की दुकानें खुल गई हैं जिससे उनकी चांदी हो गई है। बच्चे को देखने और उसके द्वारा स्पर्श किए जाने की चाहत मे आसपास के अलावा कई जिले के लोग चले आ रहे है। पंद्रह दिनों मे हालत यह हो गई है चमत्कारी बच्चा गोलू का स्कूल जाना बंद हो गया है|
स्कूल की कर्मचारी सपना की माने तो जब बच्चा वहां रहता था तो लोगों की भीड़ जमा हो जाती थी, जिसके बाद स्कूल के हेडमास्टर ने उसके घर वालों को बुलाकर उसे स्कूल न भेजने को कह दिया। भीड़ के चलते घर मे भी गोलू न तो समय से खाता पीता है और न ही उसकी नींद पूरी हो पा रही है । अपना इलाज करने पहुंचे समझदार लोग यह तो मानते है कि गोलू का मासूम बचपन इन सब चक्कर से छिन गया है, उसे पढ़ाई के लिए स्कूल जाना चाहिए लेकिन यह भी कहते हैं कि लोगों का भला होगा तो खुद गोलू का भला अपने आप हो जाएगा। गोलू के स्पर्श से कई लोग अपने आपको स्वस्थ होने का दावा भी कर रहे हैं| इस पूरे घटनाक्रम में हजारों की भीड़ दिन रात वहां मौजूद रहती है, लेकिन कौशांबी प्रशासन व पुलिस को उसकी भनक तक नही है। अवव्यस्थित भीड़ कब किसी बड़े हादसे का रूप ले ले इसके बारे में कुछ भी नही कहा जा सकता है। फिलहाल पल पल मिलती वैज्ञानिक उपलब्धियों से आज हमारा देश जहां विश्वगुरु बनने की ओर अग्रसर है, वहीं अंधविश्वास के मकड़जाल में उलझी जनता आज भी अलौकिक चमत्कार के नाम पर ठगने वाले लोगों के पीछे आंखे बंद कर भागती है।
BY- SHIVNANDAN SAHU

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