अब भी जिले के 26 उपार्जन केंद्रों में 5261 क्विंटल धान जाम है। इसकी कीमत एक करोड़ 31 लाख रुपए से अधिक है। जिला प्रशासन सभी समितियों से पाई-पाई का हिसाब ले रही है। आखिर शासन-प्रशासन को चपत क्यों लगे। इसके चलते एक-एक केंद्र की जांच कराई जा रही है। अधिकतर शॉर्टेज पाए गए समिति प्रबंधक व केंद्र प्रभारी द्वारा शॉटेज राशि देने को तैयार हुए है, लेकिन जो इसमें राजी नहीं हो रहे हैं उन पर सीधे एफआईआर होगी।
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कुम्ही सोसायटी में 968 क्विंटल धान कम पाया गया है। केन्द्र में धान भी नहीं बचा है पूरा उठाव हो गया है। इसलिए समिति प्रबंधक व केन्द्र प्रभारी पर एफ आईआर दर्ज करने व राशि वसूली के निर्देश दिए गए हैं।
रमेश शर्मा, कलेक्टर, कबीरधाम
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