खजुराहो एशिया का पहला हेलीकॉप्टर पायलट के प्रशिक्षण का केन्द्र बनेगा। खजुराहो में फ्लाइंग एकेडमी शुरू होने से अब तक अपनी विरासत एवं प्राचीन मंदिरों के लिए मशहूर खजुराहो की पहचान अब भारत के पहले फ्लाइंग ट्रेनिंग ऑर्गेनाइजेशन के रूप में भी होगी।
खजुराहो एयरपोर्ट पर फ्लाईओला एवियशन एकेडमी द्वारा सी-98 सुपरकिंग्स, बी-200 एयरक्रॉफ्ट जैसे विमानों से प्रशिक्षण दिया जाएगा। फ्लाई ओला के प्रबंध निदेशक एस राम ओला ने बताया कि आज की तारीख में पूरे एशिया में ऐसा कोई संगठन नहीं है जो इन विमानों का प्रशिक्षण प्रदान करता है। भारतीय नागरिक उड्डयन क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए और भारत के लिए प्रधान मंत्री द्वारा शुरू की गई’आत्मनिर्भर भारत योजना की दृष्टि के अनुरूप भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण ने विभिन्न हवाई अड्डों पर उड़ान प्रशिक्षण संगठनों की स्थापना करने का निर्णय लिया। इससे भारत के सभी छात्रों को हाई परफॉरमेंस एयरक्रॉफ्ट पर प्रशिक्षण लेने की के लिए ं देश से बाहर नहीं जाना पड़ेगा। एकेडमी में छात्रों को प्रशिक्षण मिलेगा। यह देश के लिए विदेशी मुद्रा के मामले में भी फायदेमंद होगा।
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खजुराहो पायलट ट्रेनिंग स्कूल को डीजीसीए की मिली अनुमति, जनवरी से होंगे एडमिशन
खजुराहो पायलट ट्रेनिंग सेंटर में पांच जहाजों पर 3 घंटे की फ्लाइंग के साथ सात छात्रों ने हवा में सपनों की उड़ान भरी। इस ट्रेनिंग सेंटर में क्षेत्र, प्रदेश और देश-विदेश के युवा हवाई जहाज उड़ाना खजुराहो से सीखेंगे। डीजीसीए से ट्रेनिंग शुरू करने की मंजूरी मिली। कोर्स के पहले बैच में 30 युवकों का चयन किया गया। खजुराहो पायलटों को ट्रेनिंग देने वाला मध्य प्रदेश का पांचवां शहर बन गया हैं। इस ट्रेनिंग सेंटर में क्षेत्र, प्रदेश और देश-विदेश के युवा हवाई जहाज उड़ाना सीखेंगे। ट्रेनिंग सेंटर का शुभारंभ एसराम ओला ने पूजा-अर्चना से किया। खजुराहो में पायलट ट्रेनिंग सेंटर खुलना खजुराहो ही नहीं पूरे बुंदेलखंड अंचल के लिए यह एक हर्ष का विषय है। अब प्राइवेट और कमर्शियल फ्लाइट उड़ाने के लिए पायलट खजुराहो से ही तैयार होंगे। इसके साथ खजुराहो पायलटों को ट्रेनिंग देने वाला मध्य प्रदेश का पांचवां शहर बन जाएगा।