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1990 के बाद से अब तक सातवीं भी एक ही चेहरे पर मुहर

locationखंडवाPublished: Nov 03, 2018 02:19:19 pm

विधानसभा चुनाव-2018 के लिए भाजपा द्वारा घोषित प्रत्याशियों के बारे में जानिए।

mp election 2018: now about harsud bjp candidate vijay shah

mp election 2018: now about harsud bjp candidate vijay shah

खंडवा. 28 साल से खंडवा जिले की हरसूद विधानसभा सीट पर भाजपा या यूं कहें कि विजय शाह का न सिर्फ कब्जा है बल्कि ये मजबूत किला है तो गलत नहीं होगा। भाजपा ने फिर से यहां शाह को ही चेहरा बनाया है। लेकिन क्षेत्र के जो अहम मुद्दे हैं और उनसे जुड़े जो सवाल हैं, वो अब-भी जवाब मांग रहे हैं। यहां खुले रूप से पार्टी या संगठन की तरफ से कभी शाह का विरोध सामने तो नहीं आया है लेकिन लोगों के मन की बात फिलहाल बाहर नहीं आई है। विधानसभा में कुल 195908 मतदाता हैं और पिछली हार-जीत का अंतर 43571 रहा है। इस लिहाज से भी तैयारियां होंगी। परिणाम क्या होंगे ये तो मतदान के बाद मतगणना से ही पता चलेगा लेकिन लगातार जीत रहे शाह इसी आधार पर टिकट पाने में सफल रहे हैं।
विजय शाह ने 1990 में संपन्न ९वीं विधानसभा के चुनाव में पहली बार चुनाव लड़ा और जीता था। इसके बाद से वे यहां से छह बार के विधायक हैं। ७वीं बार भी भाजपा ने उन्हीं के चेहरे को आगे किया है। इस सीट से पैनल में विजय शाह के अलावा उनके बेटे दिव्यादित्य शाह का ही नाम था। हरसूद विधानसभा को गढ़ बनाने वाले विजय शाह के नाम पर ही इस बार मुहर लगी है। शाह शुक्रवार को ही जिले से बाहर गए। उनके भोपाल में रहने की चर्चा रही।
इनकी भूमिका: हरसूद विधानसभा पुनर्वास और कुपोषण को लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर तक सुर्खियों में रहा है। बावजूद यहां अब-भी ये समस्याएं बरकरार है। लोगों द्वारा रोजगार के लिए पलायन करना और शिक्षा के क्षेत्र में यहां स्कूल भवनों तथा शिक्षकों का अभाव भी बड़े मुद्दे रहे, जिन पर शाह की भूमिका को लेकर विपक्ष सदैव सवाल उठाते रहा है।
प्रोफेशन: गैस एजेंसी, कृषि, वेयर हाउस, बसें
सोशल मीडिया: सोशल मीडिया पर इनकी सक्रियता न के बराबर है।
पहचान: मकड़ाई रियासत के राज परिवार सदस्य व भाजपा के कद्दावर नेता के रूप में।
राजनीतिक अनुभव: 1 नवंबर 1962 को जन्मे शाह इंदौर के क्रिश्चियन कॉलेज के छात्र संघ में विभिन्न पदों पर कार्यरत रहे। 10 से ज्यादा वर्षों तक एबीवीपी से संबद्ध रहे। छात्र राजनीति में इंदौर में महाविद्यालयीन चुनाव के संचालक रहे। 1990 से अब तक विधायक।
कॅरियर का ग्राफ: विजय शाह को पहली बार उमा भारती मंत्रिमंडल में 28 जून 2004 को शामिल कर मंत्री पद की शपथ दिलाई गई थी। इसके बाद वे कई विभागों के मंत्री रह चुके हैं। वर्तमान में शिक्षा मंत्री हैं।
कोर टीम: संतोष सोनी, संतोष सिटोके, जगन्नाथ यादव और अशोक वर्मा इनके पारीवारिक व राजनीतिक मित्र।
रिकॉर्ड: लगातार 6 बार विधायक रहने के बाद 7वीं बार भी टिकट लेकिन क्षेत्र में कुपोषण, रोजगार, पूर्ण पुनर्वास सहित अन्य कई समस्याएं बरकरार।
ठीया: खंडवा में सिविल लाइंस स्थित बंगला व आशापुर।
– शहर के सिविल लाइंस स्थित बंगले पर विजय शाह को बधाई देने पहुंचे जिलाध्यक्ष, उपाध्यक्ष व अन्य को उनके बेटे दिव्यादित्य मिले, पूर्व महापौर भावना शाह से भी चर्चा की।
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